एक महत्वपूर्ण फैसले में भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने कहा है कि गैंग रेप के मामले में समान इरादे वाले व्यक्तियों को समान रूप से जिम्मेदार ठहराया जा सकता है, भले ही केवल एक व्यक्ति ही सीधे तौर पर इस कृत्य में शामिल हो. न्यायालय ने इस बात पर जोर दिया कि समान इरादे वाले अन्य लोगों की उपस्थिति और भागीदारी अपराध में योगदान करती है, जिससे वे अपराध के लिए उत्तरदायी हो जाते हैं. यह निर्णय सामूहिक बलात्कार के मामलों में जवाबदेही के दायरे को व्यापक बनाता है, इस बात को पुख्ता करता है कि सामूहिक भागीदारी, चाहे कृत्य में प्रत्यक्ष भागीदारी हो या न हो, कानून के तहत व्यक्तियों को समान रूप से दोषी बनाती है. यह भी पढ़ें: National Herald Case: नेशनल हेराल्ड केस में सोनिया और राहुल गांधी की बढ़ी मुश्किलें, ED की चार्जशीट पर कोर्ट ने भेजा नोटिस

गैंगरेप पर सुप्रीम कोर्ट

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