
Railway Multilingual Ticketing System: भारतीय रेलवे ने यात्री आरक्षण प्रणाली (Passenger Reservation System - PRS) को पूरी तरह से बहुभाषी और स्मार्ट बनाने की तैयारी कर ली है. इसका मतलब अब आप अपनी मातृभाषा में भी आसानी से टिकट बुक कर सकेंगे. रेल मंत्रालय ने इस बड़े बदलाव की घोषणा करते हुए कहा कि नया सिस्टम यात्री सुविधा और स्मार्ट टिकटिंग को केंद्र में रखकर तैयार किया जा रहा है. इसमें न केवल टिकट बुकिंग की स्पीड कई गुना बढ़ेगी, बल्कि इंटरफेस भी यूज़र-फ्रेंडली और स्थानीय भाषाओं में उपलब्ध होगा.
रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने हाल ही में इस नए सिस्टम की समीक्षा करते हुए कहा कि रेलवे का उद्देश्य एक ऐसा प्लेटफॉर्म तैयार करना है, जिसमें हर नागरिक को सुविधा मिले. चाहे वो किसी भी भाषा या इलाके से आता हो.
क्या होंगे इस नई प्रणाली के फायदे?
यात्री अब अपनी पसंदीदा भाषा में टिकट बुक और पूछताछ कर सकेंगे. दिव्यांगजन, छात्र, मरीज आदि के लिए खास सुविधाएं सीधे प्लेटफॉर्म पर ही दिखाई देंगी. टिकट बुकिंग की क्षमता 1.5 लाख प्रति मिनट तक बढ़ाई जा रही है, जो मौजूदा 32,000 प्रति मिनट से 5 गुना ज्यादा है. किराया कैलेंडर, सीट विकल्प और अन्य जानकारियां अब और सरल तरीके से उपलब्ध होंगी.
रेलवे की यह कोशिश न केवल डिजिटल इंडिया को मजबूत करेगी, बल्कि उन लोगों को भी जोड़ने में मदद करेगी जो अब तक भाषा की वजह से खुद से टिकट नहीं बुक कर पाते थे.
पूरे देश में लागू होगा नया नियम
इस नई प्रणाली का विकास CRIS (Centre for Railway Information Systems) के द्वारा किया गया है और इसे फेज़ वाइज पूरे देश में लागू किया जाएगा.
रेलवे का यह कदम भारत की भाषाई विविधता का सम्मान करते हुए डिजिटल सेवाओं को लोकल स्तर तक पहुंचाने की दिशा में एक अहम पहल है.