कोरोनो वायरस के कारण देश भर में हुए 21 दिनों के लॉकडाउन के बीच हजारों गरीब और दिहाड़ी मजदूर अपना पेट भरने की जद्दोजहद कर रहे हैं. दरअसल लॉकडाउन के कारण काम-धंधा ठप्प होंने से उनके सामने रोजी रोटी का संकट खड़ा है. ऐसा नहीं है कि केंद्र और राज्य की सरकार उनके लिए कुछ नहीं कर रही है. कोरोना वायरस के कारण जो लॉकडाउन लगा है उससे प्रभावित लोगों को हर मुमकिन मदद दी जा रही है. इसी कड़ी में दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल ने बड़ा ऐलान किया है. केजरीवाल की सरकार ने दिल्ली के ऑटो रिक्शा, टैक्सी, ग्रामीण सेवा, फटफट सेवा, मैक्सी कैब, ईको फ्रेंडली सेवा, ई रिक्शा और स्कूल कैब ड्राइवर को 5000 रुपये की मदद देने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. जिसका फायदा जरूरतमंद लोग 13 अप्रैल से मिलना शुरू होगा. इसके लिए वे आवेदन कर सकते हैं.
सीएम केजरीवाल कि सरकार ने यह फैसला उस वक्त लिया है जब राज्यों में लॉकडाउन को बढ़ाने की तारीख आगे बढ़ाने की बात चल रही है. दरअसल अन्य राज्यों की तरह दिल्ली में कोरोना वायरस के केस लगातार बढ़ रहे हैं. इसी बीच मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल (CM Arvind Kejriwal) ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को सुझाव दिया कि देश में लॉकडाउन को 30 अप्रैल तक बढ़ा देना चाहिए. वहीं पंजाब, ओडिशा, महाराष्ट्र और पश्चिम बंगाल में कोरोना वायरस के 30 अप्रैल तक लॉकडाउन को बढ़ा दिया है.
Delhi Government has initiated the process of providing one-time financial help of Rs 5000 to auto-rickshaw, taxi, Gramin Sewa, Phatphat Sewa, Maxi Cab, Eco-Friendly Sewa, E-Rickshaws and school cab drivers. The process of taking applications will start on April 13.
— ANI (@ANI) April 11, 2020
गौरतलब हो कि राजधानी में राजधानी दिल्ली में शनिवार को कोरोना वायरस से ग्रसित व्यक्तियों की संख्या में एक बार फिर तेजी से इजाफा हुआ है. बीते 24 घंटे के दौरान दिल्ली में कोरोना वायरस के 166 नए मामले सामने आए हैं. तेजी से सामने आए इन नए मामलों के साथ ही दिल्ली में अभी तक कोरोना वायरस के कुल 1069 रोगी सामने आ चुके हैं. जिनमें से 19 व्यक्तियों की मृत्यु हो चुकी है.
कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्या जहां भारत में 7000 का आंकड़ा पार कर चूका है. वहीं विश्व में मरने वाले मरीजों की संख्या बढ़कर एक लाख 2 हजार 753 हो गई है, जबकि महामारी से संक्रमित हुए व्यक्तियों का कुल आंकड़ा 16 लाख के पार पहुंच गया है.