नई दिल्ली. भारत-चीन (India-China Border Tension) के बीच लद्दाख (Ladakh) के गलवान घाटी (Galwan Valley) में हुई हिंसक झड़प के बाद तनाव बरकरार है. दोनों सेनाओं के बीच हुई हिंसक झड़प में भारतीय सेना (Indian Army) के 20 जवान शहीद हुए थे. जबकि चीन को बड़ी संख्या में नुकसान झेलना पड़ा था. हालांकि अब तक चीन उसे छुपाता रहा है. इस घटना के बाद से ही भारत में चीन को लेकर गुस्सा है. देश के अलग-अलग हिस्सों से चीन के खिलाफ विरोध प्रदर्शन की खबरें सामने आई थी. इसके साथ ही भारत ने चीन को आर्थिक मसले पर नुकसान पहुंचाया है.भारत ने चीन के 59 एप को बैन किया है. जिसके चलते उसे आर्थिक मोर्चे भी बहुत नुकसान हुआ है. भारत-चीन के बीच कई दौर की बातचीत पहले भी हुई है लेकिन कोई सकारात्मक खबर नहीं आई है.
बता दें कि भारत-चीन के बीच लद्दाख में LAC पर जारी तनाव को लेकर चुशूल में कमांडर स्तर पर चार राउंड की बातचीत 14 जुलाई को हुई है. हालांकि बातचीत का नतीजा क्या रहा है इसे लेकर अधिक जानकारी सामने नहीं आई है. यह भी पढ़ें-चीन सीमा विवाद: लद्दाख के चुशूल में कोर कमांडर स्तर की कल फिर होगी बैठक, बोर्डर को लेकर आगे की रणनीति पर होगी चर्चा
ANI का ट्वीट-
India & China have been engaged in discussions through established military & diplomatic channels to address the prevailing situation along LAC. Commanders from PLA & Indian Army held meeting at Chushul, on Indian side, for the fourth round of talks, on 14 July: Indian Army spox pic.twitter.com/0VAVpeYwxJ
— ANI (@ANI) July 16, 2020
रिपोर्ट के अनुसार भारतीय सेना ने चार राउंड की हुई बातचीत में चीन को साफ संदेश दिया है कि वास्तविक नियंत्रण रेखा पर शांति एवं स्थिरता को लेकर सहमति वाले सभी प्रोटोकॉल का पालन करना जरूरी है. दोनों देशों की थल सेनाओं के वरिष्ठ कमांडरों के बीच कई मुद्दों पर बातचीत हुई है.