दिल्ली में Uber ड्राइवर की गुंडागर्दी, बीच रास्ते में महिला का हाथ मरोड़ा, गलत रास्ते पर मोड़ी कार, इमरजेंसी में फेल हुआ सेफ्टी बटन
(Photo : AI)

दिल्ली में एक महिला के लिए डॉक्टर के पास जाना तब एक खौफनाक अनुभव बन गया, जब उनके Uber ड्राइवर ने कथित तौर पर उनके साथ मारपीट की और उनका हाथ मरोड़ दिया. पीड़िता का नाम भारती चतुर्वेदी है. उन्होंने बताया कि मुसीबत के वक्त न तो Uber के सेफ्टी फीचर ने काम किया और न ही दिल्ली पुलिस ने तुरंत मदद की.

सोशल मीडिया पर पोस्ट वायरल होने के बाद ही अब इस मामले में जांच शुरू हुई है.

क्या है पूरा मामला?

भारती चतुर्वेदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X (पहले ट्विटर) और लिंक्डइन पर अपनी आपबीती शेयर की. उन्होंने बताया कि बुधवार दोपहर उन्होंने वसंत विहार से सर्वोदय एन्क्लेव जाने के लिए Uber बुक की थी. बाहर बहुत पॉल्यूशन था और उन्हें अस्थमा की वजह से सांस लेने में दिक्कत हो रही थी.

आरोप है कि ड्राइवर ने ड्रॉप लोकेशन से काफी दूर गाड़ी रोक दी. जब भारती ने उसे आगे चलने को कहा, तो ड्राइवर भड़क गया. उसने गुस्से में गाड़ी तेज चला दी और यू-टर्न लेने के बजाय एक अनजान गली में गाड़ी मोड़ दी.

जान बचाने के लिए खोला दरवाजा

भारती ने बताया कि जब ड्राइवर ने गाड़ी रोकने से मना कर दिया, तो उन्होंने मजबूर होकर चलती गाड़ी का दरवाजा खोल दिया ताकि ड्राइवर को रुकना पड़े. इसी दौरान ड्राइवर ने पीछे हाथ करके भारती का हाथ मरोड़ दिया (twisted her arm). भारती किसी तरह गाड़ी से बाहर निकलीं. उनके पास सिर्फ फोन और इनहेलर था.

न पुलिस आई, न Uber ने मदद की

हैरानी की बात यह रही कि भारती ने तुरंत 100 नंबर (पुलिस) और Uber सेफ्टी लाइन पर कॉल किया, लेकिन कहीं से मदद नहीं मिली.

  • Uber का जवाब: उन्होंने बताया कि Uber के AI ने कॉल काट दी. जब बात हुई, तो कंपनी ने कहा कि वे "मौके पर मौजूद नहीं हैं," इसलिए मदद नहीं कर सकते.

  • पुलिस का रवैया: पुलिस ने फोन नहीं उठाया. ड्राइवर वहीं खड़ा होकर तंज कसता रहा कि "बिला लो पुलिस को."

सोशल मीडिया पर पोस्ट के बाद एक्शन

भारती ने बाद में ऑटो लिया और डॉक्टर के पास गईं. जब उन्होंने सोशल मीडिया पर यह डरावनी कहानी लिखी, तब जाकर Uber और दिल्ली पुलिस हरकत में आई.

  • Uber ने माफी मांगते हुए कहा कि वे मामले की जांच कर रहे हैं.

  • साउथ दिल्ली के DCP ने कहा कि जांच चल रही है और कानूनी कार्रवाई की जाएगी.

"सेफ्टी एक प्रिविलेज है, गारंटी नहीं"

भारती, जो खुद 'चिंतन' एनजीओ की फाउंडर हैं, ने इस घटना के बाद कड़े सवाल उठाए हैं. उन्होंने लिखा, "असली मुद्दा यह है कि हम सुरक्षित नहीं हैं. हम अपनी सुरक्षा उन कंपनियों के भरोसे नहीं छोड़ सकते जिनका मकसद सिर्फ मुनाफा कमाना है. Uber में सुरक्षा मिलना एक प्रिविलेज (किस्मत) है, कोई गारंटी नहीं."