नई दिल्ली: अगर आप भूटान (Bhutan) घुमने जाने की प्लानिंग बना रहे है तो यह बात जानना आपके लिए बेहद जरुरी है. दरअसल भूटान की सरकार ने भारतीय नागरिकों को फ्री एंट्री देने वाली सहूलियत को खत्म करने का फैसला किया है. जिस वजह से अब भूटान की यात्रा करने पर आपकी जेब पर अतरिक्त बोझ पड़ना तय है. नए नियम के तहत भारतीय पर्यटकों (Tourist) को हर दिन के हिसाब से 1200 रुपये की फीस देनी पड़ेगी.
भूटान सरकार ने हाल ही में अपने नेशनल असेंबली में 'टूरिज्म लेवी एंड एग्जेम्पशन बिल ऑफ भूटान, 2020' पारित किया. जिसके मुताबिक भारत, बांग्लादेश और मालदीव से भूटान आने वाले लोगों से सस्टेनेबल डेवलपमेंट फीस (एसडीएफ) वसूली जाएगी. इन देशों से आने वाले पर्यटकों को हर दिन के हिसाब से 1200 रुपये बतौर एसडीएफ देने होंगे. जबकि 6-12 साल तक के बच्चों के लिए एसडीएफ आधा होगा. यह शुल्क इस वर्ष जुलाई महीने से लागू हो रही है. Budget 2020: पर्यटन और संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए बजट में बड़ा ऐलान, इन 5 ऐतिहासिक पुरातत्व स्थलों का होगा कायाकल्प
उल्लेखनीय है कि भूटान ने अपने मित्र देशों को रियायत दी है. इसी के तहत भारतीय पर्यटकों को भूटान आने के लिए बाकी देशों की तुलना में कम पैसे देने पड़ेंगे. रिपोर्ट्स की मानें तो अन्य देशों के पर्यटकों को भूटान में एक दिन रहने के लिए दस हजार रुपये से अधिक का चार्ज देना पड़ता है. भूटान टूरिज्म से जुड़ी अधिक जानकारी के लिए यहां क्लिक करें.
भूटान जाने से पहले भारतीय पासपोर्ट (या VIC) धारकों के साथ-साथ बांग्लादेशी और मालदीव के नागरिकों को वीसा (Visa) लेना अनिवार्य नहीं है. इन देशों के पर्यटकों को वीजा-ऑन-अराइवल ( Visa On Arrival ) सेवा दी गई है. अंतर्राष्ट्रीय पर्यटकों के लिए वीजा बनवाने का शुल्क 40 अमेरिकी डॉलर है.