World Heart Day 2025: एक समय था, जब ह्रदय रोग ‘वृद्धजनों’ की बीमारी माना जाता था, लेकिन पिछले कुछ सालों में जिस तरह से 20 से 40 वर्ष के युवाओं में हार्ट अटैक के ग्राफ में वृद्धि हुई है, उसे देखते हुए चिकित्सकों और स्वास्थ्य विशेषज्ञों का चिंतित होना लाजिमी है. हाल में कई मेडिकल शोधों और हेल्थ रिपोर्ट्स एआईआईएमएस (AIIMS) की साल 2023 की रिपोर्ट के अनुसार 35 प्रतिशत हार्ट अटैक के मामले 40 साल से कम उम्र के लोगों में दर्ज हुए, इनमें भी एक चौथाई 30 साल से कम उम्र के लोग थे. प्राप्त आंकड़ों के अनुसार भारत में हर वर्ष करीब 28% मौतें ह्रदय रोग से होती हैं, और अनुमान है कि 2030 तक भारत में हृदय रोग युवाओं की मृत्यु का प्रमुख कारण बन सकता सकता है. विश्व ह्रदय रोग दिवस (29 सितंबर 2025) के अवसर पर बात करेंगे, युवाओं में बढ़ते इस खतरनाक बीमारी के कारण और निवारण की..
युवाओं में बढ़ते हृदय रोग के कारणः
एक्टिविटी में कमीः आज युवाओं में काम करने का तरीका बदल गया है. प्रतिदिन 8 से 10 घंटे तक युवा निरंतर स्क्रीन के सामने बैठता है, फिजिकल एक्टिविटी में बहुत कमी आई है. इसके साथ-साथ ऑफिस, टीवी, मोबाइल और कम नींद भी युवाओं की दिनचर्या में शामिल है. यह भी पढ़ें : Dussehra 2025 Quotes: दशहरा साहस, सत्य और धर्म का पर्व है’ ऐसे कोट्स एवं शुभकामनाएं भेजकर विजयादशमी की मूल भावनाओं को जीवित रखें!
अनहेल्दी एवं अनियमित डाइटः खानपान की बात करें तो आज युवाओं में प्रोसेस्ड फूड, जंक फूड, कोल्ड ड्रिंक और हाई शुगर डाइट लेने का प्रचलन तेजी से बढ़ा है, जिनका ट्रांस फैट, रिफाइंड शुगर और नमक की अधिकता का सीधा असर ह्रदय पर पड़ता है.
धूम्रपान और अल्कोहल का चलनः युवाओं में कूल दिखने के लिए सिगरेट और शराब का चलन लगातार बढ़ रहा है. एक रिसर्च के अनुसार धूम्रपान करने वाले युवाओं में पांच गुना अधिक हृदय रोग के जोखिम होते हैं.
मानसिक तनाव और नींद की कमीः आज के युवाओं में करियर प्रेशर, सोशल मीडिया कम्पेरिज़न, रिलेशनशिप स्ट्रेस आदि से दिमाग के साथ-साथ दिल पर भी असर पड़ता है. इसके अलावा नींद की कमी के कारण भी हृदय गति और ब्लड प्रेशर असंतुलित हो सकती है.
जेनेटिक फैक्टर और जीवनशैलीः अगर परिवार में किसी को हार्ट की बीमारी है, तो उसके लिए हृदय रोग का जोखिम बढ़ जाता है, लेकिन आज की गलत आदतें इसे कम उम्र में ही ट्रिगर कर रही हैं.
अपने हृदय को बचाने के लिए युवा क्या करें?
* प्रत्येक दिन कम से कम 30 मिनट का व्यायाम (ब्रिस्क वॉक, रनिंग, योग) अवश्य करें.
* अपने आहार में फ्रेश फूड, सब्जियां, फल और होल ग्रेन्स की मात्रा बढ़ाएं
* युवाओं में धूम्रपान, शराब और कैफीन आदि के बढ़ते प्रचलन पर नियंत्रण जरूरी है.
* 7 से 8 घंटे की नींद और स्क्रीन टाइम में कटौती करके ह्रदय के प्रेशर को कम किया जा सकता है.
* हर वर्ष 6 से 12 माह हेल्थ चेकअप (BP, Sugar, Lipid Profile) जरूर करवा लें.
आज का युवा टेक्नोलॉजी और तरक्की की दौड़ में अपने हृदय के प्रति निरंतर लापरवाही बरत रहा है. समय रहते अगर आवश्यक सावधानी नहीं बरती गई तो दिल का दर्द जीवन की सबसे बड़ी हार साबित हो सकती है. इसलिए विश्व हृदय दिवस पर आइये संकल्प लें कि आप दिल के लिए जिएंगे.













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