Sanjay Raut in RS: क्या भाभीजी के पापड खाकर कोरोना ठीक होगा? संजय राउत ने राज्यसभा में मोदी सरकार पर साधा निशाना
संजय राउत (Photo Credits: YouTube)

नई दिल्ली: संसद का मानसून सत्र (Monsoon Session of Parliament) जारी है. गुरुवार को सदन में शिवसेना सदस्य संजय राउत (Sanjay Raut) ने कोरोना महामारी को लेकर महाराष्ट्र सरकार (Maharashtra Govt) द्वारा उठाए गए कदमों को सबके सामने रखा. संजय राउत ने इस दौरान कहा कि यह लड़ाई राजनीतिक नहीं है बल्कि जिंदगी बचाने की लड़ाई है. हमें एक दूसरे पर दोष लगाने से बचना चाहिए. संजय राउत ने कहा कि इस दौरान महाराष्ट्र सरकार की निंदा की गई. संजय राउत ने कहा, कोरोना से लड़ने के लिए महाराष्ट्र सरकार ने हर संभव प्रयास किए हैं.

शिवसेना सांसद ने कहा, उत्तर प्रदेश सरकार के मंत्री और पूर्व क्रिकेटर चेतन चौहान की इसी बीमारी के कारण मौत हो गई. उन्होंने कहा कि प्रदेश के ही एक नेता ने आरोप लगाया कि वहां अव्यवस्था के कारण चेतन चौहान की मौत हो गई. संजय राउत ने कहा, लेकिन यह आरोप लगाने का वक्त नहीं है. यह भी पढ़ें | संजय राउत ने किया जया बच्‍चन के बयान का समर्थन, कहा- फिल्म इंडस्ट्री को बदनाम करने वालों को रोकना चाहिए.

राउत ने कहा कि धारावी (Dharavi) एशिया की सबसे बड़ी झुग्गी बस्ती में हमने काफी हद तक संक्रमण पर काबू पा लिया है, सोचिए अगर धारावी में कोरोना संक्रमण फैल जाता तो क्या होता. उन्होंने कहा विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भी नगर निकाय बीएमसी की पीठ थपथपायी है. उन्होंने कहा कि महाराष्ट्र की आलोचना करने वाले लोगों को समझना चाहिए कि बड़ी संख्या में वहां लोग ठीक भी हुए हैं.

संजय राउत ने कहा, महाराष्ट्र सरकार ने ठाणे, पुणे जैसे बड़े शहरों में नहीं बल्कि जिला स्तर पर जम्बो कोविड सेंटर बनाए और लोगों की सेवा की. शिवसेना सांसद संजय राउत ने कहा कि मैं सदस्यों से पूछना चाहता हूं कि इतने लोग कैसे ठीक हुए? क्या लोगे भाभी जी के पापड़ खा के ठीक हो गए? यह राजनीतिक लड़ाई नहीं है बल्कि लोगों की जान बचाने की लड़ाई है.

संजय राउत ने कहा “मेरी मां और भाई भी कोविड-19 से संक्रमित हैं. महाराष्ट्र में भी कई लोग ठीक हो रहे हैं. आज धारावी में स्थिति नियंत्रण में है. मैं इन तथ्यों को बताना चाहता हूं क्योंकि यहां कुछ सदस्य महाराष्ट्र सरकार की आलोचना कर रहे थे.

संजय राउत ने पीएम केयर फंड पर सवाल उठाए हुए कहा, "सितंबर से केंद्र सरकार ने 1 सितंबर से मेडिकल मदद करना बंद कर दिया है, इसकी वजह से महाराष्ट्र सरकार पर ज्यादा बोझ आने वाले हैं. आपने पीएम केयर फंड में हाजारों लाखों करोड़ों जमा किए हैं, वो किसके लिए है. वो सभी राज्यों के लिए वो आपको देना पड़ेगा. इसके अलवा जो बकाया आपके पास है वो भी दीजिए.