![Adenovirus Scare: बेंगलुरू में बढ़े रेस्पिरेटरी इन्फेक्शन के मामले, यहां जानें एडिनोवायरस के लक्षण और बचाव उपाय Adenovirus Scare: बेंगलुरू में बढ़े रेस्पिरेटरी इन्फेक्शन के मामले, यहां जानें एडिनोवायरस के लक्षण और बचाव उपाय](https://hist1.latestly.com/wp-content/uploads/2023/03/virus-380x214.jpg)
Adenovirus: देश के कई राज्यों में एडेनोवायरस इन दिनों कहर ढा रहा है. Adenovirus या H3N2 के मामले कर्नाटक के बेंगलुरु में बढ़ रहे हैं. शहर में कुल 17 और राज्य में 37 मामले सामने आ चुके हैं. नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी ने ये आंकड़े बताए हैं. एडेनोवायरस वायरस का एक समूह है जो एरोसोल (बूंदों) के माध्यम से फैलता है. दो साल से कम उम्र के बच्चे इस बीमारी के प्रति अधिक संवेदनशील होते हैं. कर्नाटक के स्वास्थ्य मंत्री डॉ के सुधाकर ने कहा, "15 साल से कम उम्र के बच्चों को H3N2 वेरिएंट से ज्यादा खतरा है. यह 60 साल से अधिक उम्र के लोगों को भी संक्रमित करता है." Air Pollution: प्रदूषण से घुट रहा दम! दिल्ली ही नहीं, मुंबई-बंगलुरु और चेन्नई जैसे मेट्रो शहरों में भी बढ़ा पॉल्यूशन; CSE रिपोर्ट.
सकरा वर्ल्ड हॉस्पिटल, बेंगलुरु के वरिष्ठ सलाहकार और एचओडी, पीडियाट्रिक्स और नियोनेटोलॉजी, डॉ. रजत अत्रेय ने टाइम्स ऑफ इंडिया को बताया, "तीन हफ्तों में, हमने एडेनोवायरस के मामलों में भारी वृद्धि देखी है. पिछले दो महीनों में, हमने 21 सकारात्मक मामलों की पुष्टि की है. ओपीडी और ईआर में, हमें प्रतिदिन 30 बच्चे मिलते हैं, जिन्हें इस तरह के संक्रमण (Respiratory Infection) हो सकते हैं. फ्लू या एडेनोवायरस के लक्षणों वाले भर्ती बच्चों का गला स्वाब (Throat Swabs) के माध्यम से परीक्षण किया जा रहा है. हम हर दिन ऐसे 3-4 बच्चों को भर्ती कर रहे हैं."
लक्षण
स्वास्थ्य विशेषज्ञों के अनुसार, वायरस के मुख्य लक्षण बुखार, नाक बहना, गले में खराश, खांसी, शरीर में दर्द और कभी-कभी उल्टी/दस्त भी हैं. H3N2 वैरिएंट रेस्पिरेटरी सिस्टम को सबसे ज्यादा प्रभावित करता है.
कैसे बचें?
पिछले दो से तीन महीनों से ये वायरस फैल रहा है. इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के विशेषज्ञों के मुताबिक इसके कारण ज्यादा लोग अस्पतालों में भर्ती होते हैं. इसके संक्रमण से निमोनिया हो सकता है. कुछ मामलों में मौत भी हो सकती है.
ICMR ने बचाव के लिए मास्क पहनने, पर्याप्त तरल चीजें पीने, खांसते या छींकते समय मुंह को ढकने, नाक और आंखों को छूने से बचने जैसे उपायों को अपनाने की सलाह दी है. बुखार और तेज बदन दर्द की हालत में किसी डॉक्टर से संपर्क करने की सलाह दी गई है.