Jyeshtha Gauri Puja 2020 Wishes: ज्येष्ठा गौरी पूजन के शुभ अवसर पर सगे-संबंधियों को इन खूबसूरत हिंदी WhatsApp Stickers, Facebook Greetings, Photo Messages, HD Wallpapers के जरिए दें शुभकामनाएं
ज्येष्ठा गौरी पूजा 2020 (Photo Credits: File Image)

Jyeshtha Gauri Puja 2020 Wishes In Hindi: देशभर में गणेश चतुर्थी का त्योहार मनाया जा रहा है. गणेशोत्सव (Ganeshotsav) के दौरान गणपति बप्पा (Ganpati Bappa) की माता और भगवान शिव की पत्नी गौरी (Mata Gauri) का आह्वान किया जाता है. ज्येष्ठा गौरी पूजा (Jyeshtha Gauri Puja) को महालक्ष्मी गौरी पूजन (Mahalakshmi Gauri Puja) के रूप में भी जाना जाता है. भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की गणेश चतुर्थी से दस दिवसीय गणेशोत्सव की शुरुआत हो जाती है और भाद्रपद शुक्ल की अष्टमी तिथि को ज्येष्ठा गौरी का आह्वान किया जाता है. इस साल ज्येष्ठा गौरी पूजा का उत्सव 26 अगस्त को मनाया जाएगा. गौरी पूजा का उत्सव तीन दिन तक मनाया जाता है. 25 अगस्त को ज्येष्ठा गौरी के आह्वान के बाद 26 अगस्त को गौरी पूजन (Gauri Pujan) का आयोजन किया जाएगा और 27 अगस्त को गौरी विसर्जन होगा.

ज्येष्ठा गौरी पूजन का उत्सव महाराष्ट्र में धूमधाम से मनाया जाता है. इस शुभ अवसर पर लोग एक-दूसरे को ज्येष्ठा गौरी पूजा की हार्दिक शुभकामनाएं कहकर बधाई देते हैं. आप भी इन खूबसूरत हिंदी वॉट्सऐप स्टिकर्स, फेसबुक ग्रीटिंग्स, फोटो मैसेजेस, एचडी वॉलपेपर्स, विशेज और इमेजेस के जरिए अपने सगे-संबंधियों को गौरी पूजन की शुभकामनाएं दे सकते हैं. इसके अलावा आप प्ले स्टोर से भी ज्येष्ठा गौरी पूजा 2020 वॉट्सऐप स्टिकर्स डाउनलोड कर सकते हैं. डाउनलोड करने के लिए यहां क्लिक करें.

1- ज्येष्ठा गौरी पूजा की बधाई

ज्येष्ठा गौरी पूजा 2020 (Photo Credits: File Image)

2- शुभ ज्येष्ठा गौरी पूजा

ज्येष्ठा गौरी पूजा 2020 (Photo Credits: File Image)

3- ज्येष्ठा गौरी पूजा की शुभकामनाएं

ज्येष्ठा गौरी पूजा 2020 (Photo Credits: File Image)

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4- हैप्पी ज्येष्ठा गौरी पूजा 2020

ज्येष्ठा गौरी पूजा 2020 (Photo Credits: File Image)

5- ज्येष्ठा गौरी पूजा की हार्दिक बधाई

ज्येष्ठा गौरी पूजा 2020 (Photo Credits: File Image)

गौरी आह्वान के दौरान माता गौरी की प्रतिमा को भगवान गणेश के साथ स्थापित किया जाता है. प्रतिमा पर हल्दी-कुमकुम और अक्षत अर्पित करके उसका स्वागत किया जाता है. अगले दिन गौरी पूजन किया जाता है और इस दौरान उनकी मूर्ति का अभिषेक कर उनका सोलह श्रृंगार किया जाता है. इस दिन माता गौरी को सोलह प्रकार के व्यंजनों का भोग लगाया जाता है. जहां विवाहित महिलाएं अपने पति की दीर्घायु और सुखी वैवाहिक जीवन की कामना से गौरी पूजा करती हैं तो वहीं कुंवारी कन्याएं अच्छा जीवनसाथी पाने के लिए माता गौरी की पूजा-अर्चना करती हैं.