PM Narendra Modi, Mann Ki Baat: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मन की बात, कहा-स्थानीय उत्पादों को दें प्राथमिकता
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Photo Credits: ANI)

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को लोगों से अपील की थी कि वे उनके मासिक रेडियो कार्यक्रम 'मन की बात' के लिए अपने विचारों और सुझावों को साझा करें. मोदी का यह कार्यक्रम प्रत्येक माह के अंतिम रविवार को आकाशवाणी से सुबह 11 बजे प्रसारित किया जाता है. इस माह यह 25 अक्टूबर यानी आज प्रसारित हो रहा है. प्रधानमंत्री ने सुझाव के लिए ट्वीटर पर अपील करते हुए लिखा, 'मन की बात' नागरिकों की प्रेरक यात्राओं को साझा करने और उन विषयों पर चर्चा करने का एक बड़ा अवसर प्रदान करती है. कार्यक्रम में उन विषयों पर चर्चा होती है, जो सामाजिक परिवर्तन की शक्ति देते हैं. "

उन्होंने कहा, "इस महीने का कार्यक्रम 25 तारीख को होगा. नमो ऐप, माईगव पर अपने विचार साझा करें या अपना संदेश रिकॉर्ड करें. " प्रधानमंत्री हर महीने के आखिरी रविवार को 'मन की बात' में 30 मिनट के एक रिकॉर्ड किए गए संदेश में राष्ट्र को संबोधित करते हैं. इसके लिए महीने भर में नए-नए विचारों और सुझावों को साझा किया जा सकता है कुछ सुझाव प्रधानमंत्री की ओर से दिए जाने वाले संबोधन के दौरान भेजे जाने की संभावना है. मोदी के इस रेडियो कार्यक्रम के लिए अब तक कई लोगों ने नमो ऐप और माईगोव साइट पर अपने विचारों को साझा भी किया है.

प्रधानमंत्री मोदी ने मन की बात के शुरुआत में सभी देशवासियों को दशहरे की शुभकामनाएं दी. उन्होंने अपने संबोधन में कहा- प्यारे देशवासियो, नमस्कार ! आज विजयादशमी यानि दशहरे का पर्व है. इस पावन अवसर पर आप सभी को ढ़ेरों शुभकामनाएं: #PMonAIR

आज पीएम नरेन्द्र मोदी ने मन की बात की बात में कोरोना महामारी में लॉकडाउन के नियमो को याद रखने के लिए कहा है. उन्होंने कहा,साथियो, त्योहारों के इस हर्षोल्लास के बीच में Lockdown के समय को भी याद करना चाहिए.

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आज प्रधानमंत्री मोदी ने भारतीय खेल प्राधिकरण ने टेबल टेनिस के लिए राष्ट्रीय कोचिंग शिविर को मंजूरी दी.

इस बार जब आप खरीदारी करने जायें तो ‘Vocal for Local’ का अपना संकल्प अवश्य याद रखें. बाजार से सामान खरीदते समय, हमें स्थानीय उत्पादों को प्राथमिकता देनी है:

पहले, दुर्गा पंडाल में, माँ के दर्शनों के लिए इतनी भीड़ जुट जाती थी - एकदम, मेले जैसा माहौल रहता था, लेकिन, इस बार ऐसा नही हो पाया: #PMonAIR

कुछ ही दिनों बाद सरदार वल्लभ भाई पटेल जी की जन्म जयंती, 31 अक्टूबर को हम सब, ‘राष्ट्रीय एकता दिवस’ के तौर पर मनाएंगे. क्या आप सरदार पटेल के बारे में एक बात जानते हैं जो उनके sense of humour को दर्शाती है:

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मेरे प्यारे देशवासियो, सरदार पटेल ने अपना पूरा जीवन देश की एकजुटता के लिए समर्पित कर दिया:

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आज हमें अपनी वाणी,अपने व्यवहार,अपने कर्म से हर पल उन सब चीजों को आगे बढ़ाना है जो हमें ‘एक’ करे,जो देश के एक भाग में रहने वाले नागरिक के मन में,दूसरे कोने में रहने वाले नागरिक के लिए सहजता और अपनत्व का भाव पैदा कर सके हमारे पूर्वजों ने सदियों से ये प्रयास निरंतर किए हैं:

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त्रिपुरा से ले कर गुजरात तक, जम्मू-कश्मीर से लेकर तमिलनाडु तक स्थापित, हमारे, आस्था के केंद्र, हमें ‘एक’ करते हैं | भक्ति आन्दोलन पूरे भारत में एक बड़ा जन-आन्दोलन बन गया, जिसने, हमें, भक्ति के माध्यम से एकजुट किया:

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वैसे, ऐसी ताकतें भी मौजूद रही हैं जो निरंतर हमारे मन में संदेह का बीज बोने की कोशिश करते रहते हैं, देश को बाँटने का प्रयास करते हैं:

हमें निरंतर अपनी creativity से, प्रेम से, हर पल प्रयासपूर्वक अपने छोटे से छोटे कामों में, ‘एक भारत-श्रेष्ठ भारत’ के खूबसूरत रंगों को सामने लाना है, एकता के नए रंग भरने हैं, और, हर नागरिक को भरने हैं | इस सन्दर्भ में, मैं, आप सबसे, एक website देखने का आग्रह करता हूँ:

साथियो, इस महीने की 31 तारीख़ को मुझे केवड़िया में ऐतिहासिक Statue of Unity पर हो रहे कई कार्यक्रमों में शामिल होने का अवसर मिलेगा | आप लोग भी जरुर जुड़ियेगा:

मेरे प्यारे देशवासियो, 31 अक्तूबर को हम ‘वाल्मीकि जयंती’ भी मनाएंगे| मैं, महर्षि वाल्मीकि को नमन करता हूँ और इस खास अवसर के लिए देशवासियों को हार्दिक शुभकामनायें देता हूँ:

31 अक्तूबर को भारत की पूर्व-प्रधानमंत्री श्रीमती इंदिरा गाँधी जी को हमने खो दिया. मैं आदरपूर्वक उनको श्रद्धांजलि देता हूँ:

मेरे प्यारे देशवासियो, आज, कश्मीर का पुलवामा पूरे देश को पढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है. आज देश-भर में बच्चे अपना Home Work करते हैं, Notes बनाते हैं, तो कहीं-न-कहीं इसके पीछे पुलवामा के लोगों की कड़ी मेहनत भी है:

साथियो, पुलवामा की अपनी यह पहचान तब स्थापित हुई है, जब, यहाँ के लोगों ने कुछ नया करने की ठानी, काम को लेकर Risk उठाया, और ख़ुद को उसके प्रति समर्पित कर दिया. ऐसे ही कर्मठ लोगों में से एक है - मंजूर अहमद अलाई:

मेरे प्यारे देशवासियो, Lock down के दौरान Technology-Based service delivery के कई प्रयोग हमारे देश में हुए हैं, और अब ऐसा नहीं रहा कि बहुत बड़ी technology और logistics companies ही यह कर सकती हैं;

साथियो, agriculture sector में नई सम्भावनाएँ बनता देख, हमारे युवा भी काफी संख्या में इससे जुड़ने लगे हैं:

साथियो, इन दिनों महाराष्ट्र की एक घटना पर मेरा ध्यान गया:

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आज #मनकीबात में देशवासियों की असाधारण उपलब्धियाँ, हमारे देश, हमारी संस्कृति के अलग-अलग आयामों पर,आप सबसे बात करने का अवसर मिला| हमारा देश प्रतिभावान लोगों से भरा हुआ है| अगर, आप भी ऐसे लोगों को जानते हो, तो उनके बारे में बात कीजिये, लिखिये और उनकी सफलताओं को share कीजिए.