केरल लिंग आधारित ऑडिट कर सुनिश्चित करेगा कि महिलाओं को समान वेतन मिले: मुख्यमंत्री विजयन
Pinarayi Vijayan

कोच्चि, 22 फरवरी : आगामी लोकसभा चुनाव के मद्देनजर महिला मतदाताओं को लुभाने की कोशिश करते हुए केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने बृहस्पतिवार को कहा कि कार्यस्थल पर लिंग आधारित ऑडिट कराया जाएगा और सुनिश्चित किया जाएगा कि एक ही काम के लिए महिलाओं को पुरुष सहकर्मियों के बराबर वेतन मिले. यहां आयोजित मुख्यमंत्री के महिलाओं के साथ ‘फेस टू फेस प्रोग्राम’ को संबोधित करते हुए विजयन ने कहा कि नौकरी महिलाओं के लिए अनुकूल होनी चाहिए.

उन्होंने कहा, ‘‘ हाल तक जोर केवल महिलाओं को शिक्षित करने पर था. लेकिन उन्हें अब से (औपचारिक) कार्यबल में भाग लेने की आवश्यकता के बारे में आश्वस्त करने की भी जरूरत है. नौकरियों को महिलाओं के लिए अनुकूल बनाया जाना चाहिए. इसके लिए कार्यस्थल पर लिंग आधारित ऑडिट कराया जाएगा और समान वेतन सुनिश्चित किया जाएगा.’’ राज्य में उनकी सरकार द्वारा महिलाओं के अनुकूल बनाई गई नीतियों को रेखांकित करते हुए विजयन ने कहा, ‘‘केरल उच्च शिक्षण संस्थान विभाग के अंतर्गत आने वाले सभी राज्य विश्वविद्यालयों में छात्राओं के लिए मासिक धर्म अवकाश की व्यवस्था कर देश में आदर्श बन गया है.’’ यह भी पढ़ें : भाजपा को कमलनाथ की जरूरत नहीं है, उनके लिए दरवाजे बंद हैं: विजयवर्गीय

मुख्यमंत्री ने कहा कि उच्च शिक्षा पर राष्ट्रीय सर्वेक्षण के मुताबिक, केरल में उच्च शिक्षा में भागीदारी के मामले में महिलाओं की सबसे अधिक भागीदारी है. उन्होंने बताया कि अब उनका रुख है कि कैसे इस संगठित कार्यबल में अधिक महिलाओं को जोड़ा जाए. विजयन ने रेखांकित किया कि केरल पहला राज्य है जिसने 1997 में स्थानीय निकायों में महिलाओं के लिए लैंगिक बजट लागू किया.