कांग्रेस (Congress) के वरिष्ठ नेता पी. चिदंबरम (P. Chidambaram) ने शुक्रवार को कहा कि नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) सरकार ने एयरफोर्स (Air Force) की 126 लड़ाकू विमानों की जरूरत को नकार कर राष्ट्रीय सुरक्षा (National Security) से समझौता किया है और इस मामले में संयुक्त संसदीय समिति (JPC) जांच होनी चाहिए. उन्होंने यह भी सवाल किया कि जब एयरफोर्स को 126 विमानों की जरूरत थी तो सरकार सरकार सिर्फ 36 राफेल विमान (36 Rafale Fighter Jets) क्यों खरीद रही है? उन्होंने एक मीडिया रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि सरकार को प्रति विमान 186 करोड़ रुपये अधिक देने होंगे. उन्होंने यह मांग दोहराई कि जेपीसी से राफेल मामले की जांच होनी चाहिए.
चिदंबरम ने संवाददाताओं से कहा कि राफेल मामले में संबंधित बातचीत के दल ने 4 -3 से फैसला किया. क्या किसी रक्षा सौदे में कभी ऐसा हुआ? ऐसा क्यों हुआ कि इस सौदे से जुड़े हर फैसले सभी आपत्तियों को खारिज करते हुए 4-3 से किये गए? उन्होंने कहा कि इस मामले की गहन जांच जेपीसी से होनी चाहिए. हम जेपीसी जांच की मांग दोहराते हैं. चिदंबरम ने कहा कि ऑफसेट साझेदार के चयन पर सवालिया निशान है. एचएएल को दरकिनार किए जाने को लेकर सवाल हैं.
P. Chidambaram, Congress: We don't expect anything good from this govt, this is a countdown to the election, nothing that the govt will do in the next 60 days can change the state of the economy. The state of the economy is perilous, every indicator is worrisome. pic.twitter.com/QHfub6nTRt
— ANI (@ANI) January 18, 2019
राफेल विमान सौदे से जुड़ी एक खबर का हवाला देते हुए चिदंबरम ने कहा कि एक अखबार में आए नये तथ्यों और खुलासों के आलोक में, गंभीर और बड़ा सवाल ये है कि सरकार ने 36 राफेल विमान ही क्यों खरीदे, जबकि एयरफोर्स को 126 विमानों की जरूरत थी? यह भी पढ़ें- कांग्रेस नेता हरीश रावत का बड़ा बयान, कहा- पापी हैं भाजपाई, हमारी पार्टी बनाएगी राम मंदिर
चिदंबरम ने कहा कि हम इस सरकार से कुछ भी अच्छा किए जाने की उम्मीद नहीं करते हैं. यह चुनाव की उलटी गिनती है, सरकार अगले 60 दिनों में जो भी करेगी वह अर्थव्यवस्था की स्थिति को नहीं बदल सकती है. अर्थव्यवस्था की स्थिति खतरनाक है, सभी इंडिकेटर चिंताजनक हैं.
भाषा इनपुट