COVID-19 के खिलाफ जंग में भारत ने हासिल किया अहम पड़ाव, वैक्सीन की 14 करोड़ डोज देने के मामले में रहा दुनिया में सबसे आगे
प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo Credits: PTI)

कोरोना महामारी (Corona Pandemic) के रूप में भारत (India) गंभीर संकट के दौर से गुजर रहा है. शनिवार को देश में एक दिन में रिकॉर्ड 3,46,786 नए मामले सामने आए और 2,624 संक्रमित मरीजों की मृत्यु भी हो गई. इससे पहले शुक्रवार को भी एक दिन में रिकॉर्ड 3.32 लाख से अधिक नए मामले सामने आए थे और 2,263 लोगों की मौत हुई थी. बहरहाल, कोविड-19 (COVID-19) की इस भयावह स्थिति के बीच एक अच्छी खबर यह है कि 14 करोड़ वैक्सीन की डोज देने में भारत दुनिया में सबसे आगे है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय (Union Health Ministry) ने शनिवार को कहा कि भारत केवल 99 दिन में कोविड-19 वैक्सीन की 14 करोड़ खुराक दे चुका है और यह गति दुनिया में सबसे तेज है. यह भी पढ़ें- कोरोना की भयंकर मार झेल रहे भारत के 2 बड़े राज्य, पिछले 24 घंटे में UP में आए रिकॉर्ड 38055 नए केस, राजस्थान में 15 हजार का आंकड़ा पार.

मंत्रालय ने कहा कि शनिवार को रात आठ बजे तक  वैक्सीन की 24 लाख से अधिक खुराक दी गईं. रात आठ बजे तक के अनंतिम आंकड़ों के अनुसार, देश में कोविड-19 वैक्सीन की अब तक कुल 14,08,02,794 खुराक दी गई हैं. मंत्रालय ने कहा, ‘‘भारत केवल 99 दिन में कोविड-19 वैक्सीन की 14 करोड़ खुराक देकर दुनिया में सबसे तेज गति से ऐसा करने वाला देश बन गया है.’’ यह भी पढ़ें- Oxygen Shortage: दिल्ली हाईकोर्ट की सख्त टिप्पणी, कहा- ऑक्सीजन की सप्लाई रोकने वाले को 'हम लटका देंगे'.

ANI का ट्वीट-

भारत बायोटेक ने तय की Covaxin की कीमत-

भारत बायोटेक ने शनिवार को कहा कि वह कोविड-19 के अपने वैक्सीन Covaxin को राज्य सरकारों को प्रति खुराक (शीशी) 600 रुपये में उपलब्ध कराएगी. हैदराबाद की इस कंपनी ने यह भी कहा कि निजी अस्पतालों के लिए इस वैक्सीन के एक खुराक की कीमत 1,200 रुपये होगी. भारत बायोटेक के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक कृष्णा एम एल्ला ने कहा कि उनकी कंपनी केन्द्र सरकार को 150 रुपये प्रति खुराक की दर से कोवैक्सीन की आपूर्ति कर रही है और केन्द्र अपनी ओर से यह वैक्सीन मुफ्त वितरित कर रहा है. एल्ला ने कहा, ‘‘हम यह बताना चाहते हैं कि कंपनी की आधी से अधिक उत्पादन क्षमता, केन्द्र सरकार को आपूर्ति के लिए आरक्षित की गई है.’’ उन्होंने कहा कि कोविड चिकनगुनिया, जीका, हैजा और अन्य संक्रमणों के लिए वैक्सीन विकसित करने की दिशा में आगे बढ़ने के लिए जरूरी है कि वैक्सीन की लागत वसूल हो.

एजेंसी इनपुट