कोरोना का प्रकोप जून-जुलाई में पहुंच सकता है चरम पर, एम्स डायरेक्टर रणदीप गुलेरिया ने बताई ये बड़ी वजह
कोरोना वायरस (Photo Credits: Pixabay)

नई दिल्ली: देशभर में कोरोना वायरस (Coronavirus) पीड़ितों की संख्या बढती जा रही है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक गुरुवार को देश में कोविड-19 (COVID-19) पॉजिटिव मामलों की कुल संख्या बढ़कर 52,952 हो गई है. जबकि 1783 संक्रमितों ने दम तोड़ दिया है. वहीं 15,266 लोग स्वास्थ्य होकर घर लौट चुके है. इस बीच महामरी के चरम पर पहुंचने को लेकर एम्स (अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान) निदेशक रणदीप गुलेरिया (Randeep Guleria) ने अहम बात कही है.

एम्स (AIIMS) के डायरेक्टर डॉ गुलेरिया ने कहा आंकड़ों पर नजर डाले तो जिस तरह से देश में कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं. उससे यही संभावना है कि जून और जुलाई में इस महामारी का चरम होगा. लेकिन कई चीजे हैं और समय के साथ ही हमें पता चल जाएगा कि वे कितने प्रभावी हैं. इसके अलावा यह भी पता चल जाएगा कि लॉकडाउन का विस्तार कितना कामयाब रहा. आगरा सेंट्रल जेल तक पहुंचा कोरोना, एक कैदी मिला पॉजिटिव, 14 को किया गया क्वारंटाइन

उन्होंने माना कि देश को लॉकडाउन का फायदा मिला है. यही वजह है कि कोरोना संक्रमितों का आंकड़ा दूसरे देशों की तरह विस्फोटक तरीके से नहीं बढ़ा है.उन्होंने यहा भी कहा कि दुनियाभर में कोविड-19 से निपटने के लिए दवाएं और वैक्सीन बनाने के प्रयास चल रहे है. कोविड 19 संकट के दौरान अपनी देखभाल के लिए आयुष मंत्रालय ने रोग प्रतिरोधक शक्ति बढ़ाने के लिए बताए उपाय- यहां क्लीक कर पढ़ें

एम्स के निदेशक होने के साथ ही डॉ रणदीप गुलेरिया एक जानेमाने पल्मोनोलॉजिस्ट (Pulmonologist) है. उन्हें एम्स में फेफड़े की दवाओं और नींद संबंधी बीमारियों के लिए भारत के पहले केंद्र की स्थापना का श्रेय दिया जाता है. भारत सरकार गुलेरिया को साल 2015 में पद्म श्री (Padma Shri) से भी सम्मानित किया है.