नई दिल्ली: उत्तर भारत भीषण गर्मी से जूझ रहा है. मौसम विभाग ने अपनी ताजा भविष्यवाणी में उत्तर भारत के लिए फिर से हीटवेव का अलर्ट जारी किया है. मौसम विभाग (IMD) में कहा, “अगले पांच दिन के दौरान उत्तर-पश्चिम और पूर्वी भारत में भीषण गर्मी पड़ने का अनुमान है.” मौसम विभाग (IMD) ने बताया कि उत्तर-पश्चिम और पूर्वी भारत में भीषण गर्मी का दौर फिर से शुरू हो गया है. भारतीय मौसम विभाग ने फिर से चेतावनी दी है कि आने वाले दिनों में दिल्ली में अधिकतम तापमान 47 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच जाएगा और 11 से 13 जून तक एनसीआर में ऑरेंज अलर्ट जारी किया है.
सोमवार को दिल्ली में अधिकतम तापमान लगातार दूसरे दिन 43 डिग्री सेल्सियस के स्तर को पार कर गया, जबकि कई अन्य पड़ोसी इलाकों में भी गर्मी की स्थिति बनी रही. मौसम बुलेटिन में कहा गया है कि जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, राजस्थान, मध्य प्रदेश, झारखंड, ओडिशा और पश्चिम बंगाल के गंगा के मैदानी इलाकों में भीषण गर्मी पड़ने के आसार हैं. अगले पांच दिनों में तापमान में दो से तीन डिग्री की वृद्धि होने की उम्मीद है.
सोमवार को पश्चिम बंगाल के गंगा के मैदानी इलाकों के कुछ हिस्सों में लू से लेकर भीषण लू की स्थिति बनी रही. जबकि उत्तर प्रदेश, दक्षिण बिहार, दिल्ली और झारखंड के कुछ इलाकों में भी लू की स्थिति रही. दिल्ली में नरेला 46.6 डिग्री सेल्सियस के साथ सबसे गर्म रहा.
दिल्ली में ऑरेंज अलर्ट
आईएमडी ने कहा कि दिल्ली 11 से 13 जून तक ‘ऑरेंज अलर्ट’ पर रहेगी, जबकि संभावित हीटवेव जैसी स्थितियों को देखते हुए पहले जारी किया गया येलो अलर्ट 14 जून तक जारी रहेगा. मौसम विभाग ने मंगलवार को दिन में 25 से 35 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से तेज़ हवाएँ चलने के साथ लू की स्थिति के साथ आसमान साफ रहने का अनुमान लगाया है.
विभाग ने कहा कि अधिकतम और न्यूनतम तापमान क्रमशः 44 और 30 डिग्री सेल्सियस तक पहुंचने की संभावना है.
क्यों बढ़ रही है गर्मी
मौसम विभाग (IMD) ने बताया कि गर्म हवाओं का ताजा दौर दिल्ली, राजस्थान, मध्य प्रदेश, पंजाब, हरियाणा, जम्मू और कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और झारखंड, ओडिशा और गंगीय पश्चिम बंगाल के कुछ हिस्सों को प्रभावित कर सकता है.
विशेषज्ञों का कहना है कि यह अत्यधिक गर्मी प्राकृतिक रूप से घटित होने वाली अल नीनो घटना तथा वायुमंडल में ग्रीनहाउस गैसों की तेजी से बढ़ती सांद्रता का परिणाम है. अल नीनो के दौरान मध्य और पूर्वी उष्णकटिबंधीय प्रशांत महासागर में समुद्री सतह असामान्य रूप से गर्म हो जाती है.