विधानसभा चुनावों में भाजपा को जीत मिलने पर बोला विपक्ष, विधानसभा चुनावों के नतीजों का असर ‘इंडिया’ गठबंधन पर नहीं होगा
INDIA Alliance | Photo: PTI

नयी दिल्ली, 4 दिसंबर: विपक्ष के कई दलों के नेताओं ने सोमवार को कहा कि पांच राज्यों में हुए विधानसभा चुनावों में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को भले ही हिंदी पट्टी के तीन प्रदेशों में बड़ी जीत मिली हो, लेकिन इसका असर विपक्ष के गठबंधन ‘इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस’ (इंडिया) पर नहीं पड़ेगा. यद्यपि उनका यह भी कहना है कि अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव में विपक्ष को कड़ी मेहनत करने की जरूरत है.

भाजपा ने रविवार को मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनावों में जीत हासिल की तथा कांग्रेस को करारी शिकस्त देकर हिंदी पट्टी में अपनी पकड़ और मजबूत कर ली। कांग्रेस ने तेलंगाना में जीत दर्ज की. नतीजों के एक दिन बाद नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि विपक्षी गठबंधन ‘इंडिया’ के घटक दलों को और अधिक मेहनत करनी होगी. नतीजों और गठबंधन पर इसके संभावित प्रभाव के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, ‘‘इससे गठबंधन पर कोई फर्क नहीं पड़ेगा। हमें और अधिक मेहनत करनी होगी.’’

अब्दुल्ला ने कहा, ‘‘जीत और हार होती रहती है. हमें हार के साथ-साथ जीतने वालों से भी सीखना चाहिए। ‘इंडिया’ को एकजुट होना है. हमें देश को मजबूत करने की जरूरत है.’’ मध्य प्रदेश में कांग्रेस और समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन नहीं हो पाने पर अब्दुल्ला ने कहा, ‘‘सभी को समायोजित करना होगा और हमें आगे बढ़ना होगा.’’ राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के नेता मनोज झा ने भी कहा कि नतीजों का गठबंधन पर कोई असर नहीं पड़ेगा. उन्होंने कहा, ‘‘ये राज्य के चुनाव थे. इन्हें पीछे छोड़ दिया जाना चाहिए। राष्ट्रीय चुनाव विभिन्न मुद्दों पर होंगे. इसका (विधानसभा चुनाव परिणाम) कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा, सभी को ‘इंडिया’ गठबंधन की एकता को समझना होगा.’’

कांग्रेस के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल ने कहा कि उनकी पार्टी इस बात पर आत्मावलोकन करेगी कि चुनाव में क्या गलत हुआ। उन्होंने यह भी कहा कि इसका विपक्षी समूह पर कोई असर नहीं पड़ेगा. वेणुगोपाल ने कहा, ‘‘सभी विपक्षी दल सोमवार को सुबह संसद में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे के कार्यालय में बैठक में शामिल हुए. मध्य प्रदेश में सपा के साथ सीटों का तालमेल नहीं होने के मुद्दे पर वेणुगोपाल ने कहा, ‘‘उन्हें शिकायत करने की आजादी है और कुछ शिकायतें वास्तविक भी हो सकती हैं. हम इस पर गौर करेंगे और आवश्यक सुधार करेंगे.’’

इस बीच, लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के सांसद चिराग पासवान ने हार के लिए बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और बिहार में हुए जाति सर्वेक्षण को जिम्मेदार ठहराया. पासवान जुलाई में भाजपा के नेतृत्व वाले राजग में शामिल हुए थे. उन्होंने कहा, ‘‘यह बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार हैं जिन्होंने ‘इंडी गठबंधन’ को सबसे अधिक नुकसान पहुंचाया है. उन्होंने महिलाओं के खिलाफ जो टिप्पणियां कीं, जिस तरह की टिप्पणियां उन्होंने अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के नेताओं के खिलाफ कीं. जिस तरह की टिप्पणी बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी के खिलाफ की गई , उनका असर चुनाव पर पड़ा.'' पासवान ने कहा कि बिहार में जाति जनगणना में जिस तरह से आंकड़ों को बढ़ाया-घटाया गया, उसका असर भी हुआ है.

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