बेंगलुरू: कर्नाटक में भाजपा की सरकार गिरने के बाद लगभग हफ्तेभर चले संग्राम पर कल विराम लगा गया. भाजपा के नेता बीएस येदियुरप्पा द्वारा विधानसभा में विश्वासमत से पहले ही इस्तीफा देने के बाद कर्नाटक के राज्यपाल वजुभाई वाला ने शनिवार को जनता दल-सेक्युलर (जेडीएस) के नेता एचडी कुमारस्वामी को राज्य में अगली सरकार गठन के लिए आमंत्रित किया.
जेडीएस चीफ कुमारस्वामी ने राज्यपाल से मिलने के बाद संवाददाताओं से कहा, "राज्यपाल ने मुझे सरकार बनाने के लिए आमंत्रित किया है, क्योंकि मैं कांग्रेस के समर्थन के साथ जेडी-एस विधायक दल के नेता हूं. कांग्रेस हमारी सहयोगी दल है."
जेडीएस नेता ने यह भी कहा कि राज्यपाल ने 224 सदस्यीय विधानसभा में उन्हें बहुमत साबित करने के लिए 15 दिन का वक्त दिया है. वर्तमान में निर्वाचित सदस्यों की संख्या 222 है.
कुमारस्वामी ने पहले शपथ लेने की तारीख 21 मई बताई थी. कुमारस्वामी ने कहा, "मैंने 21 मई को कांतीरवा स्टेडियम में सुबह 11 बजे शपथ लेने के साथ जेडीएस-कांग्रेस सरकार गठित करने का फैसला किया है."
बता दें की 21 मई पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी का शहादत दिवस है. इसको देखते हुए शपथ ग्रहण की तारीख दो दिन और खिसका दी गई है. शपथ ग्रहण समारोह के लिए संप्रग अध्यक्ष सोनिया गांधी, कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, बसपा प्रमुख मायावती समेत अनेक नेताओं को आमंत्रित किया है.
वहीँ बीजेपी ने स्वीकार किया कि कर्नाटक के मुख्यमंत्री येदियुरप्पा ने इसलिए इस्तीफा दिया, क्योंकि उनके पास त्रिशंकु विधानसभा में बहुमत साबित करने के लिए पर्याप्त संख्या नहीं थी. भाजपा प्रवक्ता वमनाचार्य ने यहां आईएएनएस से कहा, "शक्ति परीक्षण में जीत हासिल करने के लिए हमारे पास पर्याप्त संख्या नहीं थी, जिसके बाद बेंगलुरू और दिल्ली में हमारी पार्टी के नेताओं ने फैसला किया कि येदियुरप्पा को इस्तीफा दे देना चाहिए."
बता दें की बहुमत साबित करने के लिए येदियुरप्पा सरकार को 8 सीट कम पड़ रही थी. कर्नाटक विधानसभा चुनाव में बीजेपी 104 सीटें जीतकर राज्य में सबसे बड़ी पार्टी के तौर पर उभरी थी. जबकि कांग्रेस के खाते में 78 और जेडीए ने 38 सीटों पर कब्जा जमाया था.