Supreme Court on Fire Crackers Ban: दिल्ली-एनसीआर में दिवाली पर पटाखों से होने वाले प्रदूषण को लेकर एक याचिका की सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने बड़ी बात कही. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि प्रदूषण पर रोक लगाना सुप्रीम कोर्ट ही काम नहीं है. पटाखों पर दिल्ली-एनसीआर में ही बैन नहीं बल्कि पूरे देश स्थानीय सरकारों के विवेक पर लागू है.
राजधानी दिल्ली में वायु प्रदूषण को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब सरकार को फटकार लगाते हुए कहा है कि हर समय राजनीति नहीं हो सकती है. पराली जलाने पर रोक लगानी होगी. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि ये कोई राजनीतिक लड़ाई का मैदान नहीं है. राजनैतिक ब्लेगेम को रोकें और आप दूसरों पर नहीं थोप सकते. ये भी पढ़ें- Firecrackers Ban: दीवाली पर आतिशबाजी जरूरी! पटाखों पर रोक के खिलाफ हाईकोर्ट पहुंचा केरल सरकार
#SupremeCourt clarified that directions issued by it against bursting of firecrackers were not just for #Delhi-NCR but for also all states.
The court further directed state governments to take appropriate steps to control air/noise pollution. The bench of Justice A.S. Bopanna… pic.twitter.com/j57mRMwoYS
— IANS (@ians_india) November 7, 2023
सुप्रीम कोर्ट ने पंजाब सरकार से कहा, “हम चाहते हैं कि पराली जलाना बंद हो. हमें नहीं पता कि आप यह कैसे करेंगे, लेकिन ये आपका काम है. तुरंत कुछ करना होगा. ये लोगों की हेल्थ की हत्या के समान है. आप पराली जलाने को क्यो नहीं रोक पाते हैं?'' कोर्ट ने कहा कि स्थानीय स्तर पर SHO को इसके लिए ज़िम्मेदार माना जाए. हम शुक्रवार को सुनवाई करेंगे.
उच्चतम न्यायालय ने पंजाब सरकार को चेतावनी भरे लहजे में कहा, “कुछ भी करें, ये रुकना चाहिए नहीं तो हमें सख्ती दिखानी होगी. राजनीतिक दोषारोपण के खेल को बंद कर देना चाहिए. दिल्ली और पंजाब में एक ही पार्टी की सरकार है. यहां पर हर कोई एक्सपर्ट बन रहा है लेकिन समाधान किसी के पास नहीं.”
सुप्रीम कोर्ट ने आगे कहा, “जब समस्या आती है तो कदम उठाते हैं लेकिन फिर अगले साल वही हालात हो जाते हैं.” कोर्ट ने कहा कि पंजाब, हरियाणा, यूपी और दिल्ली तत्काल पराली जलाने पर रोक लगाएं.