Sawan Maas 2019: 17 जुलाई 2019 से सावन महीने (Sawan Maas) की शुरुआत हो चुकी है. हिंदू पंचांग के अनुसार, सावन महीना (Shravan Month) साल का पांचवां महीना होता है. सावन का पावन महीना भगवान शिव (Lord Shiva) को अत्यंत प्रिय है और इस महीने में महिलाएं, युवतियां और पुरुष भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए व्रत करते हैं. सावन के महीने में भगवान शिव के मंदिरों में श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ती है और इसी महीने से कांवड यात्रा भी शुरु हो जाती है. कहा जाता है कि सावन में पूरे महीने या सावन सोमवार को व्रत करने वालों की समस्त मनोकामनाएं भगवान शिव पूरी करते हैं.
सावन के महीने में भगवान शिव अपने भक्तों की थोड़ी सी भक्ति से भी प्रसन्न हो जाते हैं. कहा जाता है कि इस महीने में भगवान शिव के प्राचीन मंदिरों में दर्शन करने से भक्तों पर भगवान शिव की कृपा बरसती है. अगर आप भी भगवान शिव की कृपा पाना चाहते हैं तो इस महीने भोलेनाथ के इन मंदिरों (Famous Temples of Lord Shiva) के दर्शन जरूर करें.
1- अमरनाथ धाम, जम्मू-कश्मीर
सावन के महीने में लाखों श्रद्धालु बाबा बर्फानी के दर्शन के लिए अमरनाथ यात्रा पर जाते हैं. श्रीनगर से करीब 145 किलोमीटर दूर स्थित अमरनाथ धाम के बारे में कहा जाता है कि इसी गुफा में भगवान शिव ने माता पार्वती को अमरत्व की कथा सुनाई थी. कहा जाता है कि बाबा बर्फानी के दर्शन करने से लोगों को 23 पवित्र तीर्थस्थलों के दर्शन जितना पुण्य मिलता है. यह भी पढ़ें: Sawan 2019: सावन के शुरू होते ही निकला कांवड़ियों का जत्था! जानें कब शुरू हुई कांवड़-यात्रा, कौन था पहला कांवड़िया?
2- केदारनाथ धाम, उत्तराखंड
देवभूमि उत्तराखंड के रुद्रप्रयाग जिले में मंदाकिनी नदी के पास स्थित केदारनाथ धाम लाखों-करोड़ों हिंदुओं की आस्था का प्रमुख केंद्र है. इस मंदिर को लेकर मान्यता है कि द्वापर युग में महाभारत का युद्ध जीतने के बाद पांडव कौरवों की हत्या के पाप से मुक्ति पाने के लिए भगवान शिव का आशीर्वाद प्राप्त करने यहां आए थे. यहां दर्शन मात्र से भक्तों की सारी मनोकामनाएं पूरी होती हैं.
3- बैद्यनाथ धाम, झारखंड
भगवान शिव के ज्योतिर्लिंगों में से एक है झारखंड के देवघर स्थित बैद्यनाथ धाम, जिसे बाबा धाम के नाम से भी जाना जाता है. सावन के महीने में हजारों कांवडिए कांवड लेकर बाबा धाम पहुंचते हैं और यहां सावन मेले का आयोजन किया जाता है. सावन के महीने में यह पूरा मंदिर केसरिया पहने शिवभक्तों से रंग जाता है.
4- काशी विश्वनाथ, उत्तर प्रदेश
प्राचीन धर्म नगरी वाराणसी स्थित काशी विश्वनाथ मंदिर दुनियाभर में मशहूर है. कहा जाता है कि जो लोग बाबा विश्वनाथ के दर्शन करते हैं भगवान शिव की कृपा से उनके लिए मोक्ष के द्वार खुल जाते हैं. इस मंदिर में दर्शन मात्र से बाबा विश्वनाश भक्तों की समस्त मनोकामनाएं पूरी करते हैं. यहां आने से भक्तों की हर तकलीफ दूर होती है और उन्हें मानसिक सुकून का एहसास होता है. यह भी पढ़ें: Shravan 2019: सावन में भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए आजमाएं ये दमदार उपाय, जीवन की सभी परेशानियां होंगी दूर
5- महाकालेश्वर, मध्य प्रदेश
मध्य प्रदेश के उज्जैन में शिप्रा नदी के पास स्थित भगवान शिव के इस ज्योतिर्लिंग को महाकालेश्वर ज्योतिर्लिंग कहा जाता है. कहा जाता है कि महाकालेश्वर के दर्शन करने वाले भक्तों से काल भी घबराता है. यह मंदिर एक बड़े परिसर में स्थित है, जहां अन्य देवी-देवताओं के कई छोटे-बड़े मंदिर स्थित है. अगर आप भगवान शिव की कृपा प्राप्त करना चाहते हैं तो सावन में महाकाल के दर्शन जरूर करें.
6- सोमनाथ मंदिर, गुजरात
गुजरात का सोमनाथ मंदिर भगवान शिव के प्राचीन मंदिरों में से एक है. लूट और दोबारा निर्माण की वजह से यह मंदिर हमेशा से ही विदेशी सैलानियों के आकर्षण का मुख्य केंद्र रहा है. इसे भगवान शिव के बारहवें ज्योतिर्लिंग के नाम से भी जाना जाता है. इस स्थान पर हिरण, कपिला और सरस्वती नदी का महासंगम होता है, इसलिए इस स्थान पर त्रिवेणी स्नान का विशेष महत्व बताया जाता है.
7- भीमाशंकर मंदिर, महाराष्ट्र
महाराष्ट्र के पुणे से करीब 110 किलोमीटर दूर सहयाद्रि पर्वत पर स्थित भीमाशंकर मंदिर 12 ज्योतिर्लिंगों में छठे नंबर पर है. कहा जाता है कि इस मंदिर में दर्शन करने मात्र से व्यक्ति के सारे दुख दूर हो जाते हैं. मान्यता है कि जो भक्त इस मंदिर में रोज प्रात:काल सूर्योदय के बाद दर्शन करता है, उसके पिछले जन्मों के पाप भी दूर हो जाते हैं और मोक्ष के रास्ते खुल जाते हैं. यह भी पढ़ें: Shravan 2019: नंदी बैल कैसे बनें भगवान शिव की सवारी, जानिए इससे जुड़ी यह अनोखी पौराणिक गाथा
8- कोटिलिंगेश्वर धाम, कर्नाटक
कर्नाटक के कोलार जिले में स्थित कोटिलिंगेश्वर धाम के कण-कण में भगवान शिव का वास है. इस मंदिर में दुनिया के सबसे ऊंचे शिवलिंग के साथ छोटे-बड़े आकार के करीब 1 करोड़ शिवलिंग हैं, इसलिए इसे कोटिलिंगेश्वर धाम कहा जाता है. इस मंदिर का आकार ही शिवलिंग के रूप में स्थित है, जो दुनिया का सबसे ऊंचा शिवलिंग भी है. इस मंदिर में दर्शन करने से भक्तों को मनचाहा फल मिलता है.
गौरतलब है कि भगवान शिव के इस पावन महीने में देश के विभिन्न क्षेत्रों में स्थित उनके प्राचीन मंदिरों के दर्शन करने से भक्तों को शिव की कृपा प्राप्त होती है, इसलिए महादेव के इन मंदिर के दर्शन जरूर करें.