नई दिल्ली: बिहार (Bihar) में इस साल 2020 के अक्टूबर-नवंबर महीनें में होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए सभी पार्टियों ने तैयारी करनी शुरू कर दी है. इसी कड़ी में प्रतिदिन सूबे में नए-नए पोस्टर लगाए जा रहे हैं. प्रदेश में हाल ही में राष्ट्रीय जनता दल (Rashtriya Janata Dal) ने कुछ पोस्टर लगाए थे. जिसमें पार्टी की तरफ से प्रदेश में मौजूदा सरकार के उपर कई तरह के आरोप लगाए गए थे. राजद (RJD) ने अपने इस पोस्टर में लिखा था, 'दो हजार बीस नीतीश कुमार फिनिश.'
वहीं राष्ट्रीय जनता दल के इस पोस्टर वार के बाद सूबे में विपक्षी दल ने भी कई पोस्टर लगाए हैं. जिसमें आर्थिक शोषण, भ्रष्टाचार, अत्याचार, शोषण और बेबसी जैसे मुद्दों को उठाया गया है. विपक्ष ने इन पोस्टर में राजद की पिछली नाकामियों को दर्शाया है.
Bihar: Posters against Rashtriya Janata Dal (RJD) seen in parts of Patna. pic.twitter.com/ANxwfHUgWx
— ANI (@ANI) February 17, 2020
बता दें कि मौजूदा मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के झोली में आगामी चुनाव के लिए ऐसी कई उपलब्धियां हैं जो वो बताकर आगामी चुनाव जीत सकते हैं. नीतीश कुमार का जनता के बीच छवि भी बेहतर है. वो जानते हैं कि महागठबंधन के संतरे का खोल मजबूत नहीं रहा सो फांके अलग-अलग होने में देर नहीं लगेगी. संगठन के स्तर पर भी फिलहाल बीजेपी और जदयू विरोधियों से आगे हैं. दोनों ही अपने सांगठनिक कील-कांटे दुरुस्त कर जनता के बीच माहौल भी बनाने में लगे हैं.
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वहीं नीतीश कुमार की रणनीति के आगे नाकाम विपक्ष फिलहाल इस बात से संतोष कर सकता है कि लोकसभा चुनाव के बाद हरियाणा, महाराष्ट्र, झारखंड और दिल्ली में मोदी का जादू बेअसर रहा. बिहार में महागठबंधन की आस इसी पर टिकी है, लेकिन उसकी राह में बड़ा रोड़ा हैं नीतीश, क्योंकि यह चुनाव अन्य राज्यों से अलग होगा. यहां मोदी नहीं नीतीश चेहरा हैं. महागठबंधन के लिए सबसे बड़ी दिक्कत आपसी सामंजस्य बिठाना होगा.