बिहार विधानसभा चुनाव 2020 (Bihar Assembly Elections 2020) को लेकर प्रमुख पार्टियां अपनी जोड़-तोड़ में जुट गई है. आरजेडी, जेडीयू, बीजेपी, कांग्रेस सभी अपने-अपने दांव खेल रहे हैं. सत्ता में वापसी के लिए बीजेपी और जेडीयू ने पूरी कमर कस ली है तो वहीं चुनाव में जीत के सपने लेकर आरजेडी भी मैदान में उतर चुकी है. फिलहाल अभी चुनाव की तारीखों का कोई अधिकारिक ऐलान नहीं किया गया है. लेकिन माना जा रहा है कि इस बार बिहार में विधानसभा चुनाव अक्टूबर या फिर नवंबर में हो सकता है. वर्तमान बिहार विधानसभा का कार्यकाल 29 नवंबर को समाप्त हो रहा है. इसी दौरान अलग-अलग राज्यों के राज्यों की 64 विधानसभा और एक लोकसभा सीट पर उपचुनाव कराया जायेगा.
बता दें कि बिहार में इस साल होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर चुनाव आयोग ने अभी तक तिथियों की घोषणा भले ही नहीं की है, लेकिन राजनीतिक दल अपनी तैयारिययों को लेकर पूरा जोर लगाए हुए है. जहां पूर्व उपमुख्यमंत्री और विधानसभा में विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव ने बेरोजगारों को रिझाने की कोशिश की है. उन्होंने नीतीश सरकार के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए बेरोजगारी हटाओ नाम से एक वेबपोर्टल और एक टॉल फ्री नंबर भी जारी किया. यह भी पढ़ें:- Bihar Assembly Election 2020: राजधानी दिल्ली में आज LJP संसदीय दल की बैठक, मांझी के एनडीए में शामिल होने के चलते बने हालात पर होगी चर्चा.
वहीं, पलटवार में नीतीश के मंत्री ने कहा है कि विपक्षी राष्ट्रीय जनता दल और कांग्रेस झूठ बोलने और भ्रम पैदा करने में माहिर हैं. स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडे ने इस बात पर जोर दिया कि आगामी विधानसभा चुनावों में उनके झूठ का मुकाबला करना बहुत महत्वपूर्ण है. जबकि JDU ने अपनी स्थिति को मजबूत करने में जुट गई है. इसी कड़ी में हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा के प्रमुख और पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी को महागठबंधन से तोड़कर अपने पक्ष ले लिया है. इसे दलित मतदाताओं को अपने पक्ष में करने की कोशिश मानी जा रही है. फिलहाल चुनाव का समय करीब आ रहा है. ऐसे में जीत के लिए पार्टियां हर मुमकिन कोशिश में जुट गई हैं.