भारतीय सेना सामरिक दृष्टि से लगातार अपनी ताकत में इजाफा कर रही है. सोमवार को ओडिशा (Odisha) तट से जमीन पर मार करने वाली ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल (BrahMos supersonic cruise missile ) का रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) ने सफल परीक्षण किया. ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल बेहद घातक हथियार है. जो आवाज से 2.8 गुना तेज स्पीड से अपने टारगेट को निशाना बना सकती है. इस मिसाइल को थल, जल और हवा से दागा जा सकता है. ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल 300 किलोग्राम वजन तक विस्फोटक ले जाने में सक्षम है. यह मिसाइल घनी आबादी में भी अपने लक्ष्य को आसानी से भेद सकती है. इस सफलता के बाद एक बार फिर पाकिस्तान और चीन की भौंहे खड़ी हो गई है.
बता दें कि ब्रह्मोस (BrahMos) का पहला परीक्षण 12 जून 2001 को चांदीपुर से ही किया गया था. इस मिसाइल के परीक्षण के मौके पर डीआरडीओ एवं आईटीआर से जुड़े कई वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं अधिकारियों का दल मौके पर मौजूद था. ब्रह्मोस मिसाइल का भारतीय वायुसेना के सुखोई-30 विमान से परीक्षण किये जाने के बाद लड़ाकू विमानों पर लंबी दूरी की मिसाइलों को एकीकृत करने वाला भारत दुनिया में एकमात्र देश है.
यह भी पढ़ें:- इमरान खान ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के मंच पर की ये बेतुकी बातें, पाकिस्तानी मीडिया भी कर रही है ट्रोल.
Defence Research and Development Organisation (DRDO) successfully test fires land attack version of BrahMos supersonic cruise missile off the coast of Odisha.
— ANI (@ANI) September 30, 2019
गौरतलब हो कि मई महीने में एयर फोर्स ने सुखोई-30 एमकेआई लड़ाकू विमान से सुपरसोनिक ब्रह्मोस क्रूज मिसाइल का सफल परीक्षण किया था. हवाई प्रक्षेपित 2.5 टन का ब्रहमोस मिसाइल हवा से जमीन पर मार करने वाला सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल है, जिसकी मारक क्षमता 300 किलोमीटर है. दो दिनों में आकाश-1एम मिसाइल का दूसरी बार परीक्षण किया गया. इसका सिस्टम इस तरह बनाया गया है कि कई तरफ से आते खतरों को एक साथ आसानी से निशाना बनाया जा सके.