Assam Floods: असम के मोरीगांव में ब्रह्मपुत्र ने मचाई तबाही, घर, जमीन सब जलमग्न; खाने-पीने के लिए तरस रहे लोग
Assam Floods | PTI

 गुवाहाटी: असम के मोरीगांव जिले में सैकड़ों परिवार बेघर हो गए हैं, क्योंकि ब्रह्मपुत्र नदी ने उनके घर और ज़मीनें निगल ली हैं. जिले में बाढ़ की स्थिति में अब सुधार हो रहा है, लेकिन प्रभावित लोगों की मुश्किलें अभी भी गंभीर हैं. कई लोग पिछले एक पखवाड़े से सड़कों, पुलों, तटबंधों और ऊंचे इलाकों में रह रहे हैं, क्योंकि उनके घर अभी भी पानी में डूबे हुए हैं. बाढ़ ही नहीं, बल्कि नदी के कटाव ने भी जिले के कई लोगों को प्रभावित किया है.

दो बच्चों की मां भारती राय ने एएनआई को बताया कि उनके परिवार के पास अपना घर और ज़मीन थी, लेकिन कुछ साल पहले ब्रह्मपुत्र नदी ने उन सबको निगल लिया, और अब वे तटबंध पर एक छोटी सी झोपड़ी में रह रहे हैं.

भारती राय ने कहा, "हमारा मूल घर कटहगुरी गांव में था, लेकिन नदी के कटाव के कारण हमने सब कुछ खो दिया. अब हम इस तटबंध में रह रहे हैं. हमारा परिवार 4 सदस्यों का है और हमारे पास कोई ज़मीन नहीं है. बाढ़ के कारण हम काम की तलाश में बाहर नहीं जा सकते. हमें केवल राशन कार्ड का चावल मिलता है. अब हमारे पास कोई विकल्प नहीं है." उन्होंने आगे कहा कि इस तटबंध में रहने वाले हर परिवार को ऐसी ही समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है.

मोरीगांव बाढ़

बेघर हुए लोगों का दर्द

एक अन्य पीड़ित सीता ठाकुर ने कहा, "हमारा मूल घर कटहगुरी चार इलाके में था, लेकिन नदी ने सब कुछ निगल लिया. "हम अब यहीं रह रहे हैं और हम कहीं और नहीं जा सकते क्योंकि हमारे पास कोई ज़मीन नहीं है. अब मेरा 3 सदस्यों का परिवार है और परिवार के अन्य सदस्य दूसरी जगहों पर चले गए हैं. अब बाढ़ ने हमें भी प्रभावित किया है."

सीता ठाकुर ने कहा, "लगभग 30-35 परिवार अब यहां रह रहे हैं और पहले उनके पास अपने घर थे, लेकिन नदी के कटाव के कारण वे भी अपने घर खो बैठे. हम गरीब लोग हैं और बहुत सारी समस्याओं का सामना कर रहे हैं, लेकिन हमारे पास कोई दूसरा विकल्प नहीं है."

दूसरी ओर, जिले के गगलमारी इलाके में कई ग्रामीण सड़क और तटबंध पर शरण लिए हुए हैं क्योंकि गांव में अभी भी पानी भरा हुआ है. गगलमारी गांव के निवासी रसीदुल ने एएनआई को बताया कि बाढ़ का पानी अब कम हो रहा है लेकिन ग्रामीणों को अभी भी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है.

रसीदुल ने कहा, "इस गांव को जोड़ने वाली सड़क पर अभी भी पानी भरा हुआ है. इस गांव के कई घरों में अभी भी पानी भरा हुआ है और कई लोग तटबंधों पर रह रहे हैं. बाढ़ के कारण यहां कई समस्याएं हैं."

बाढ़ ने ली 96 लोगों की जान

असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (ASDMA) की रिपोर्ट के अनुसार, इस साल बाढ़ ने 96 लोगों की जान ले ली है और 17 जिलों के 5.11 लाख लोग अभी भी प्रभावित हैं. बाढ़ के पानी ने 21236.46 हेक्टेयर फसल क्षेत्र को जलमग्न कर दिया और 1132 गांवों को प्रभावित किया. इससे पहले सोमवार को, AICC और असम प्रदेश कांग्रेस कमेटी (APCC) की एक टीम ने बाढ़ पीड़ितों से मिलने के लिए असम के बाढ़ प्रभावित मोरीगांव जिले का दौरा किया.