देश की खबरें | सु्गंधित फसलों के उत्पादन की तकनीक सीख रहे हैं कोरापुट के किसान

कोरापुट (ओडिशा), 22 नवंबर आदिवासी किसानों की आय बढ़ाने की मुहिम के तहत कोरापुट जिला प्रशासन वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद (सीएसआईआर)-केंद्रीय औषधीय एवं सगंध पौधा संस्थान (सीआईएमएपी), लखनऊ के साथ मिलकर सुगंधित फसलों की खेती के मूल्य संवर्धन के लिए किसानों को तकनीक उपलब्ध करा रहा है।

किसानों को यहां हाल में एक दिवसीय कार्यशाला में प्रशिक्षण दिया गया।

सीएसआईआर से एक वैज्ञानिक प्रशांत कुमार राउत ने कहा, ‘‘आदिवासी-बहुल कोरापुट एक आकांक्षी जिला है जहां पारंपरिक खेती आजीविका का प्राथमिक स्रोत है। मूल्य संवर्धन से हमारा लक्ष्य किसानों की आय बढ़ाना है।’’

सीएसआईआर-अरोमा अभियान और जिले के आजीविका सुधार कार्यक्रम के तहत जिले में आदिवासी किसान अपने खेतों में सुगंधित फसलों जैसे कि लेमन ग्रास, पुदीना, जेरेनियम, युकेलिप्टस सुगंधित गुलाब, चमेली, कैमोमाइल और हल्दी की खेती कर रहे हैं।

करीब 50 आदिवासी महिला किसानों सहित 100 अधिक लोगों ने कार्यक्रम में हिस्सा लिया और स्थानीय कृषक समुदाय ने इसमें अपनी गहरी रूचि और प्रतिबद्धता दिखाई।

अधिकारियों ने कहा कि इस पहल से न सिर्फ आदिवासी किसानों की आय बढ़ने की संभावना है बल्कि यह क्षेत्र के आर्थिक विकास में भी योगदान देगा।

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