नई दिल्ली, 27 अक्टूबर: पाकिस्तान (Pakistan) के गृह मंत्री शेख राशिद अहमद (Sheikh Rashid Ahmed) ने बुधवार को कहा कि प्रतिबंधित तहरीक-ए-लब्बैक पाकिस्तान (टीएलपी) के साथ हालिया संघर्ष के बाद पंजाब प्रांत में कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए 60 दिनों तक रेंजर्स को बुलाया जा रहा है. पाकिस्तानी अखबार डॉन की अपनी एक हालिया रिपोर्ट में यह जानकारी दी है. यह भी पढ़े: Pakistan: पाकिस्तान के कबायली इलाके में दो गुटों में झड़प, 10 की मौत
इस्लामाबाद में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए मंत्री ने कहा कि इस संबंध में एक सारांश (समरी) संघीय मंत्रिमंडल को मंजूरी के लिए भेजा गया है. हालांकि, उन्होंने फिर भी समूह से अपना विरोध समाप्त करने का अनुरोध किया. मंत्री की यह टिप्पणी बुधवार को पंजाब के गुजरांवाला जिले में साधोक के पास कानून लागू करने वालों (सुरक्षा बल) और टीएलपी समर्थकों के बीच ताजा हिंसा के बाद आई है. हिंसा में कम से कम चार पुलिसकर्मी मारे गए और दर्जनों घायल हो गए.
रिपोर्ट में कहा गया है कि गृह मंत्री की प्रेस कॉन्फ्रेंस से कुछ समय पहले, सूचना मंत्री फवाद चौधरी ने स्पष्ट रूप से कहा कि टीएलपी को राज्य की कानून एवं व्यवस्था को चुनौती देने की अनुमति नहीं दी जाएगी और इसे 'आतंकवादी' समूह के रूप में माना जाएगा, न कि धार्मिक पार्टी के तौर पर. चौधरी की प्रेस कॉन्फ्रेंस के बाद इस्लामाबाद में मीडिया से बात करते हुए राशिद ने कहा, "समूह का 'एक और एजेंडा' था. इसलिए मैं पंजाब सरकार को रेंजर्स बुलाने के लिए अधिकृत कर रहा हूं."मंत्री ने कहा कि उन्होंने प्रतिबंधित समूह से बीती रात साढ़े तीन बजे बात की थी और उन्हें देश के हालात देखने को कहा था. राशिद ने कहा, "मैंने उनसे कहा कि फ्रांसीसी राजदूत तो पाकिस्तान में हैं ही नहीं. इससे पता चलता है कि उनका एक और एजेंडा है. "