अफगानिस्तान में मस्जिद में विस्फोट, कम से कम 25 लोगों की मौत, दर्जनों अन्य घायल
प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo Credits: unsplash)

अफगानिस्तान (Afganistan) के कुंदुज प्रांत में मजिस्द में दोपहर की नमाज के दौरान हुए विस्फोट की अभी किसी संगठन ने जिम्मेदारी नहीं ली है, लेकिन इस्लामिक स्टेट समूह के आतंकवादियों का अफगानिस्तान के शिया मुस्लिम अल्संख्यकों पर हमला करने का लंबा इतिहास रहा है।

कुंदुज प्रांत के उप पुलिस प्रमुख दोस्त मोहम्मद ओबैदा ने कहा कि हो सकता है कि हमले को किसी आत्मघाती हमलावर ने अंजाम दिया होगा, जो नमाज अदा करने वालों के बीच घुल-मिल गया होगा।

शुक्रवार को जिन लोगों को निशाना बनाया गया, वे हजारा समुदाय से हैं, जो सुन्नी बहुल देश में लंबे समय से भेदभाव का शिकार बनते रहे हैं।

उप पुलिस प्रमुख ने कहा, ‘‘मैं अपने शिया भाइयों को आश्वस्त करता हूं कि तालिबान उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए तैयार है।’’ उन्होंने कहा कि घटना की जांच जारी है।

शुक्रवार का हमला अमेरिका और नाटो सैनिकों की अगस्त के अंत में अफगानिस्तान से वापसी और देश पर तालिबान के कब्जे के बाद एक भीषण हमला है।

गोजर ए सैयद अबाद मस्जिद में शुक्रवार की नमाज के दौरान विस्फोट ऐसे समय में हुआ है, जब तालिबान सत्ता पर अपनी पकड़ मजबूत बनाने की कोशिश कर रहा है और उसके लिए यह एक नयी सुरक्षा चुनौती है।

शुरूआती रिपोर्ट का हवाला देते हुए ओबैदा ने इससे पहले कहा था कि विस्फोट में 100 से अधिक लोग हताहत हुए हैं। उनके शुरूआती बयान के घंटों बाद भी पुलिस ने अब तक इस बारे में अद्यतन सूचना नहीं दी है।

कुंदुज प्रांतीय अस्पताल के एक अधिकारी ने बताया कि हमले में कम से कम 25 लोग मारे गये, जबकि 51 अन्य घायल हो गये। उन्होंने कहा कि ये आंकड़े शुरूआती हैं क्योंकि हताहतों को निजी अस्पतालों में भी भेजा गया है।

मौतों का शुरूआती आंकड़ा 25 रहने पर भी यह विदेशी सैनिकों के अफगानिस्तान से जाने के बाद से सर्वाधिक संख्या है।

प्रत्यक्षदर्शी अली रेजा ने बताया कि वह विस्फोट के वक्त नमाज अदा कर रहे थे और उन्होंने कई हताहतों को देखा।

घटनास्थल की तस्वीरों और वीडियो में बचावकर्मी मस्जिद से कंबल में लिपटे शवों को एंबुलेंस में रखते दिखाई देते हैं।

स्थानीय निवासी हुसैनदाद रेजायी ने बताया कि विस्फोट होने के शीघ्र बाद वह मस्जिद की ओर दौड़े। उनहोंने कहा, ‘‘नमाज शुरू होने के साथ विस्फोट हुआ। मैं अपने रिश्तेदारों को तलाशने वहां पहुंचा। मस्जिद लोगों से भरी हुई थी। ’’

इस बीच, तालिबान के मुख्य प्रवक्ता जबीहुल्ला मुजाहिद ने कहा कि तालिबान विशेष बल मौके पर पहुंच गये हैं और घटना की जांच कर रहे हैं।

अफगानिस्तान में संयुक्त राष्ट्र मिशन ने शुक्रवार के हमले की निंदा की और कहा कि यह धार्मिक स्थलों को निशाना बनाकर की जाने वाली हिंसा की पद्धति का हिस्सा है।

प्रमुख शिया धर्मगुरु सैयद हुसैन अलीमी बल्खी ने हमले की निंदा की और तालिबान से अफगानिस्तान में शियाओं के लिए सुरक्षा मुहैया कराने का आग्रह किया।

एपी

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