नकलची पौधे और मरी हुई तैराक मछली पर खोज को मिले इग्नोबेल
प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo Credit: Image File)

सालभर की मजाकिया खोजों के लिए दिए जाने वाले इग्नोबेल पुरस्कारों में इस साल 10 श्रेणियों में विजेताओं का एलान हुआ. असली नोबेल विजेताओं ने ये पुरस्कार बांटे.मिसाइलों को दिशा देने के लिए कबूतरों का इस्तेमाल, मरी हुई मछलियां की तैरने की क्षमता और कुछ जीवों के गुदा से सांस लेने का तरीका. ये विज्ञान के क्षेत्र में वे खोजें हैं जिन्हें 2024 के इग्नोबेल पुरस्कार मिले हैं. इग्नोबेल पुरस्कार मजाकिया वैज्ञानिक खोजों के लिए दिए जाते हैं.

इस साल का इग्नोबेल पुरस्कार समारोह बॉस्टन के मैसाचुसेट्स इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी में हुआ. ‘एनल्स ऑफ इम्प्रॉबेबल रिसर्च‘ पत्रिका की वेबसाइट ये पुरस्कार लोगों को हंसाने और अलग तरह से सोचने पर मजबूर करने के लिए आयोजित करती है.

विजेताओं को एक पारदर्शी बॉक्स दिया गया जिसमें मर्फीज लॉ से जुड़ीं ऐतिहासिक चीजें और जिम्बाब्वे का 100 खरब डॉलर का नोट था, जिसकी कोई ज्यादा कीमत नहीं है. पुरस्कार विजेताओं को असली नोबेल पुरस्कार विजेताओं द्वारा सम्मानित किया गया.

मजेदार समारोह

समारोह के संचालक और पत्रिका के संपादक मार्क अब्राहम्स ने एक इंटरव्यू में कहा, "जब कुछ राजनेता समझदारी भरी चीजों को बकवास साबित करने में लगे हुए हैं, तब वैज्ञानिकों ने कुछ बकवास दिखने वाली चीजें खोजीं जो असल में बहुत काम की हैं."

सच से कहीं ज्यादा तेजी से फैलता झूठ: मारिया रेसा

समारोह की शुरुआत, 2003 में जीवविज्ञान में इग्नोबेल पुरस्कार के विजेता रहे केस मोलिकर के भाषण से हुई. मोलिकर ने एक अध्ययन किया था जिसमें मॉलर्ड बत्तखों में समलैंगिक मृतक संभोग (नेक्रोफीलिया) की घटना का दस्तावेजीकरण किया गया था.

इसके बाद एक व्यक्ति मंच पर आया, जिसने एक पीली कमीज पहनी हुई थी. उस कमीज पर टारगेट बना हुआ था. इस व्यक्ति ने प्लास्टिक का फेस मास्क पहना था. जल्द ही उस पर दर्शकों ने कागज के हवाई जहाज फेंकने शुरू कर दिए.

फिर पुरस्कार वितरण शुरू हुआ, जिसके बीच में कुछ सांस्कृतिक प्रस्तुतियां भी हुईं. लेकिन जब भी कोई कोई ऐसी प्रस्तुति आती, जिसमें मजा नहीं आ रहा था तो एक लड़की मंच पर आकर बोलती, "प्लीज इसे रोक दें, मैं बोर हो रही हूं." समारोह के बीच में मर्फीज लॉ से प्रेरित एक अंतरराष्ट्रीय गीत प्रतियोगिता भी हुई, जिसमें कोलस्लॉ और कानूनी प्रणाली पर आधारित गाने थे.

10 श्रेणियों में पुरस्कार

पुरस्कार 10 श्रेणियों में दिए गए, जिनमें शांति और चिकित्सा विज्ञान शामिल थे. विजेताओं में वैज्ञानिकों का एक समूह था जिसने यह दिखाया कि चिली की एक बेल पास के कृत्रिम पौधों की आकृतियों की नकल करती है. एक अन्य अध्ययन ने यह जांचा कि क्या उत्तरी और दक्षिणी गोलार्ध के लोगों के सिर के बाल एक ही दिशा में घूमते हैं.

अन्य विजेताओं में एक वैज्ञानिक समूह भी था जिसने दिखाया कि साइड इफेक्ट्स देने वाली नकली दवा, बिना साइड इफेक्ट्स वाली नकली दवा से ज्यादा प्रभावी हो सकती है. एक और अध्ययन में यह दिखाया गया कि कुछ स्तनधारी अपनी गुदा से सांस लेने में सक्षम होते हैं. ये विजेता मछली जैसी दिखने वाली टोपी पहनकर मंच पर आए.

कब्ज के मारे बिच्छुओं की सेक्स लाइफ ने दिलाया इग्नोबेल

जूली स्किनर वर्गास ने अपने दिवंगत पिता बीएफ स्किनर की ओर से शांति पुरस्कार स्वीकार किया, जिन्होंने कबूतर-मिसाइल अध्ययन लिखा था. बीएफ स्किनर फाउंडेशन की प्रमुख स्किनर वर्गास ने कहा, "मैं आपको उनके सबसे महत्वपूर्ण योगदान को आखिरकार मान्यता देने के लिए धन्यवाद देना चाहती हूं. रिकॉर्ड को सही करने के लिए धन्यवाद."

फ्लोरिडा विश्वविद्यालय के जीवविज्ञान के प्रोफेसर जेम्स लिआओ ने मरी हुई ट्राउट मछली की तैराकी क्षमताओं पर किए गए अपने अध्ययन के लिए फिजिक्स का इग्नोबेल पुरस्कार जीता. लिआओ ने नकली मछली को उठाते हुए कहा, "मैंने पाया कि जीवित मछली मरी हुई मछली की तुलना में अधिक हिलती है, लेकिन बहुत ज्यादा नहीं.

एक लकड़ी के पीछे बांधकर अगर मरी हुई ट्राउट को तैराया जाए तो वह भी अपनी पूंछ को धारा की लहरों के साथ उसी तरह हिलाती है जैसे कोई जीवित मछली घूमती धाराओं पर करती है. मरी हुई मछली भी जीवित मछलियों जैसे ही चलती है."

वीके/सीके (एपी, डीपीए)