रमजान के पाक महीने में भाई चारे की एक मिसाल देखने को मिली है. असम के एक मुस्लिम शख्स ने एक बीमार अनजान व्यक्ति को अपना खून देकर उसकी जान बचाई. असम के मंगलदोई के पानुल्लाह अहमद फेसबुक पेज ‘टीम ह्यूमैनिटी, ब्लड डोनर्स एंड सोशल एक्टिविस्ट इन इंडिया के सदस्य हैं. उनका रेफरेंस उनके किसी दोस्त ने एक प्राइवेट अस्पताल को दिया था. यहां भर्ती रंजन गोगोई नाम के शख्स को अर्जेंट खून की जरुरत थी, क्योंकि उनका ट्यूमर का ऑपरेशन होना था. अस्पताल से अहमद को फोन आया और वो तुरंत रक्तदान के लिए तैयार हो गए. अहमद और उनके दोस्त को जब पता चला कि किसी पेशंट को खून की जरुरत है तो उन्होंने ब्लड डोनर को खोजने की बहुत कोशिश की. जब कोई नहीं मिला तो अहमद ने अपना रक्तदान करने का फैसला किया.
रक्तदान से पहले उन्होंने बड़े बूढ़ों से सलाह ली. जिसके बाद उन्हें पता चला कि रक्तदान से पहले उन्हें अपनी सेहत का ध्यान रखना होगा. अहमद ने खून देने से पहले अपना रोजा तोड़ा और बीमार व्यक्ति को रक्तदान दिया. आजकल लोग अपने रिश्तेदारों को रक्तदान करने से कतराते हैं. अहमद ने एक अनजान शख्स को खून देकर इंसानियत की मिसाल कायम की है.
आपको बता दें कि पनुल्लाह अहमद गुवाहाटी के एक प्राइवेट अस्पताल में काम करते हैं और हमेशा जरुरतमंदों को रक्तदान करते हैं.