अगरतला: तृणमूल कांग्रेस (TMC) की राज्यसभा (Rajya Sabbha) सदस्य सुष्मिता देव (Sushmita Dev) और पार्टी के 10 अन्य सदस्यों पर शुक्रवार को पश्चिमी त्रिपुरा (Tripura) के अमताली में सत्तारूढ़ भाजपा (BJP) के सदस्यों ने कथित तौर पर हमला कर दिया. पश्चिम त्रिपुरा जिला पुलिस प्रमुख माणिक लाल दास (Manik Lal Das) के अनुसार, तृणमूल ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है, जो अब घटना की जांच कर रही है. दास ने आईएएनएस को बताया, "टीएमसी की एक कार क्षतिग्रस्त हो गई है. देव या उनकी पार्टी के सदस्यों को कोई शारीरिक चोट नहीं आई है." हालांकि बीजेपी ने इन आरोपों को खारिज किया है. Tripura Election 2023: त्रिपुरा में नहीं बदला जाएगा मुख्यमंत्री, बिप्लब देब के नेतृत्व में ही BJP लड़ेगी चुनाव
भाजपा प्रवक्ता नबेंदु भट्टाचार्जी ने मीडिया से कहा, "यह घटना उनके आंतरिक कलह का हिस्सा है. तृणमूल सदस्य जो हाल ही में गठित त्रिपुरा संचालन समिति में जगह नहीं बना सके, वे इसके पीछे हैं."
अमताली पुलिस स्टेशन में दी गई एक शिकायत में तृणमूल नेताओं ने आरोप लगाया कि एक आउटरीच कार्यक्रम के दौरान भाजपा कार्यकर्ताओं ने उन पर हमला किया और उनकी कार क्षतिग्रस्त हो गई. पार्टी के एक बयान में कहा गया है कि देव घायल हो गईं, जबकि टीएमसी कार्यकर्ताओं के मोबाइल और अन्य कीमती सामान हमलावरों ने लूट लिया.
तृणमूल के महासचिव अभिषेक बनर्जी ने ट्वीट करते हुए इस घटना की निंदा की है. उन्होंने कहा है कि बिप्लब के नेतृत्व में गुंडाराज व्याप्त है और राजनीतिक विरोधियों पर हमले के नए रिकॉर्ड स्थापित हो रहे हैं. बनर्जी ने कहा कि एक मौजूदा महिला राज्यसभा सांसद सुष्मिता देव को त्रिपुरा बीजेपी के गुंडों द्वारा शारीरिक रूप से परेशान करना बेहद शर्मनाक है.
बनर्जी ने आगे चेताते हुए कहा कि समय निकट ही है और त्रिपुरा के लोग इसका जवाब देंगे! पार्टी सुप्रीमो और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के दृष्टिकोण, योजनाओं और संदेशों को सामने लाने के लिए तृणमूल ने गुरुवार को 12 दिवसीय राज्यव्यापी कार्यक्रम - त्रिपुरार जोनो तृणमूल (त्रिपुरा के लिए तृणमूल) शुरू किया था.
त्रिपुरा में पार्टी के पहले मेगा कार्यक्रम की घोषणा करते हुए, देव और राज्य की संचालन समिति के संयोजक सुबल भौमिक ने गुरुवार को मीडिया से कहा कि त्रिपुरार जोनो तृणमूल कार्यक्रम के माध्यम से पार्टी के नेता राज्य भर में जमीनी स्तर पर लोगों तक पहुंचेंगे. उन्होंने कहा कि त्रिपुरा के आठ जिलों, 58 ब्लॉक और 20 शहरी स्थानीय निकायों को कवर करते हुए पार्टी के नेता लोगों के साथ बातचीत करेंगे और भाजपा के 'मिस-गवर्नेंस' से उत्पन्न उनके मुद्दों को सुनेंगे.
देव, जिनके पिता और पूर्व केंद्रीय मंत्री स्वर्गीय संतोष मोहन देव ने 1988 में त्रिपुरा में कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार स्थापित करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी, उन्होंने कांग्रेस छोड़ दी और 16 अगस्त को तृणमूल में शामिल हो गई थीं. वह फिलहाल पार्टी संगठन को मजबूत करने के लिए पूरे राज्य का दौरा कर रहीं हैं.
त्रिपुरा में 2023 में होने वाले विधानसभा चुनावों पर नजर रखते हुए, मंत्रियों और सांसदों सहित तृणमूल के वरिष्ठ नेता संगठन बनाने और भाजपा शासित त्रिपुरा में समर्थन हासिल करने के लिए जुलाई से अक्सर राज्य का दौरा कर रहे हैं.