नई दिल्ली: केरल के सबरीमाला मंदिर को लेकर विरोध थमने का नाम नहीं ले रहा है. शीर्ष अदालत ने मंदिर में हर उम्र महिलाओं के लिए दरवाजे खोल दिए हैं, लेकिन अभी तक इस आदेश के अनुसार ऐसा कुछ नहीं हुआ है. मंदिर में अभी तक 10-50 उम्र वाली एक भी महिला अयप्पा के दर्शन नहीं कर पाई है. महिलाओं के प्रवेश पर लगा प्रतिबंध हटने के बाद सबरीमाला मंदिर बुधवार को पहली बार मासिक पूजा के लिए खोला गया है. सबरीमाला मंदिर के बेस कैम्प निलक्कल में बुधवार दोपहर से कुछ प्रदर्शनकारी जुट गए थे. ये लोग मंदिर में महिलाओं के प्रवेश का विरोध कर रहे थे. यह विरोध प्रदर्शन लगातार तीसरे दिन भी जारी है.
सुप्रीम कोर्ट ने 12वीं सदी के भगवान अयप्पा के मंदिर में महिलाओं के प्रवेश पर लगा प्रतिबंध हटा दिया था. केरल सरकार द्वारा कहा गया है कि हम कोर्ट के आदेश को लागू करेंगे. लेकिन, पूरे राज्य में अदालत के फैसले का भारी विरोध देखने को मिल रहा है.
#Kerala: Visuals from Sannidhanam as protests opposing the entry of women of all age groups in #SabarimalaTemple continue. Protesters say "No woman between 10-50 years of age will enter here. We are protecting Sabarimala." pic.twitter.com/WrnQKFXOGY
— ANI (@ANI) October 19, 2018
ये प्रदर्शनकारी मंदिर में महिलाओं के प्रवेश का विरोध कर रहे थे. इनको खदेड़ने के लिए पुलिस ने लाठीचार्ज किया. केरल सरकार की एक मंत्री केके. शैलजा ने सबरीमाला मंदिर के घटनाक्रम पर सवाल उठाए हैं. उन्होंने न्यूज एजेंसी से कहा- वहां जो हो रहा है वो सुनियोजित है. यह गंदी राजनीति है. मैं ये भी नहीं कह सकती कि वो वास्तव में भक्त ही हैं या नहीं. सुप्रीम कोर्ट का आदेश संवैधानिक है और सरकार इसे मानने के लिए बाध्य है. सबरीमाला मंदिर मामला: इस अभिनेता ने बोले कड़वे बोल, कहा- मंदिर आने वाली महिलाओं के कर दिए जाने चाहिए दो टुकड़े
#Kerala: More visuals from Sannidhanam as protests against the entry of women of all age groups in #SabarimalaTemple continue. pic.twitter.com/GXWX6Zmvoy
— ANI (@ANI) October 19, 2018
प्रदर्शनकारी लगातार सुप्रीम कोर्ट के आदेश का विरोध कर रहे हैं, बुधवार को मंदिर के कपाट खुलने के बाद से यह विरोध प्रदर्शन जारी है. वहीं प्रशासन ने गुरुवार से इलावुंगल और सन्नीदानम में कर्फ्यू लगा दिया जो शुक्रवार तक लागू रहेगा. पठानमथिट्टा जिला कलेक्टर पीबी नूह ने कहा कि प्रशासन द्वारा सबरीमाला आने वाले श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित की जाएगी. बता दें, शुक्रवार सुबह भी दो महिलाएं पूरी सुरक्षा के बीच मंदिर की ओर बढ़ रही हैं, उनके साथ करीब 250 पुलिसवाले भी हैं.
शुक्रवार को हैदराबाद की एक महिला पत्रकार ने सबरीमला पहाड़ी की चढ़ाई शुरू कर दी है. दिल्ली की एक महिला पत्रकार ने अपने विदेशी पुरुष सहयोगी के साथ मंदिर में प्रवेश की कोशिश की लेकिन उन्हें पर्वतीय क्षेत्र मरक्कोट्टम से बैरंग वापस पंबा में लौटना पड़ा. भगवान अयप्पा के क्रोधित भक्तों ने इस महिला को आगे बढ़ने से रोक दिया. महिला को पुलिस की निगरानी में सुरक्षित स्थान पर ले जाया गया. महिला पत्रकार के पीछे पहाड़ी पर चढ़ रहे मलयालम समाचार चैनलों के संवाददाताओं ने बताया कि श्रद्धालु 'महिलाओं, वापस जाओ' के नारे लगा रहे थे. 500 साल पुराना रहस्य: सबरीमाला मंदिर जाने से पहले श्रद्धालु इस मस्जिद की परिक्रमा क्यों करते है?
#Kerala: Journalist Kavitha Jakkal of Hyderabad based Mojo TV, being escorted by police from Pamba to Sannidhanam. #SabarimalaTemple pic.twitter.com/6lwDGStDTw
— ANI (@ANI) October 19, 2018
विदेशी मीडिया संगठन के लिए काम करने वाली दिल्ली की पत्रकार के मंदिर में दर्शन करने में विफल रहने के एक दिन बाद हैदराबाद की इस महिला ने यह चढ़ाई शुरू की है. पुलिस ने महिला को सुरक्षा मुहैया कराई है. यदि यह महिला पत्रकार पहाड़ी चढ़कर मंदिर पहुंचने में कामयाब हो जाती हैं तो सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद अयप्पा स्वामी मंदिर में भगवान के दर्शन करने वाली वह रजोधर्म आयु वर्ग की पहली महिला होंगी.