पटना: बिहार विधानसभा(Bihar Assembly) के शीतकालीन सत्र(Winter Session) के तीसरे दिन बुधवार की कार्यवाही भी विपक्ष के हंगामे के बाद दिन के दो बजे तक स्थगित कर दी गई. विपक्षी सदस्य केंद्रीय जांच ब्यूरो(Central Bureau of Investigation) (सीबीआई) का दुरुपयोग कर राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद(Lalu Prasad) को फंसाने का आरोप लगाते हुए हंगामा करने लगे, जिसके बाद सदन की कार्यवाही दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई. विधानसभा की कार्यवाही सुबह 11 बजे शुरू होते ही कांग्रेस, राजद(RJD) और वामपंथी दलों के सदस्य हंगामा करने लगे.
विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार चौधरी(Vijay Kumar Chaudhary) ने कई बार विपक्षी सदस्यों को अपने स्थान पर बैठने और प्रश्नोत्तर काल के बाद इस मामले को उठाने का अनुरोध किया परंतु जब सदस्य हंगामा करते रहे तब अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी. सदन के बाहर संवाददाताओं से बात करते हुए कांग्रेस विधायक रामदेव राय(Ramdev Rai) ने कहा कि सीबीआई सेंट्रल ब्यूरो ऑफ इंडिया(Central Bureau Of India) हो गई है. लोकतंत्र षड्यंत्र में बदल गया है.
Bihar Assembly adjourns after opposition disrupts proceedings. https://t.co/gHj2XcIabd Patna, Nov 27 (IANS) The Bihar Assembly was on Tuesdsy adjourned till 2 p.m., after the opposition RJD members disrupted the proceedings demanding that Speaker Vijay Choudhary pic.twitter.com/1ITHFtD6dK
— Suryaa Telugu News (@SuryaTeluguNews) November 27, 2018
विपक्षी नेताओं को बोलने नहीं दिया जा रहा है. राजद नेता अब्दुल बारी सिद्दीकी( Abdul Bari Siddiqui) ने आरोप लगाते हुए कहा, "सीबीआई में खींचतान के बाद एक उच्च स्तरीय अधिकारी द्वारा शपथ पत्र देकर कहा गया है कि सीबीआई अधिकारी अस्थाना(CBI Officer Asthana), उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी(Sushil Kumar Yadav), मुख्यमंत्री नीतीश कुमार(Nitish Kumar) और पीएमओ की मिलीभगत से लालू प्रसाद यादव को फंसाया गया है. इसके बावजूद उपमुख्यमंत्री ने इस आरोप का आज तक खंडन नहीं किया."
उन्होंने कहा कि राजद अध्यक्ष भाजपा के घुर विरोधी हैं, इस कारण उनकी गिरफ्तारी करवाई गई. उन्होंने कहा कि राजद ने इस मुद्दे को लेकर विधानसभा में कार्यस्थगन प्रस्ताव दिया था, परंतु सरकार चर्चा से भाग रही है. भाजपा विधायक संजय सरावगी ने कहा कि राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव को न्यायालय ने सजा सुनाई है.
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विपक्ष एक परिवार के कारण सदन का समय बर्बाद कर रहा है. उन्होंने कहा कि सरकार सभी मामले पर चर्चा को तैयार है परंतु सदन नियम से चलता है. उल्लेखनीय है कि पांच दिनों तक चलने वाले इस शीतकालीन सत्र के दूसरे दिन मंगलवार को भी हंगामे के बीच मात्र 40 मिनट का कार्य हो सका था.