मुंबई: कोरोना महामारी (Corona Epidemic) को लेकर अन्य राज्यों की अपेक्षा महाराष्ट्र सबसे ज्यादा परेशान हैं. ऐसे में सरकार को हर दिन करोड़ो रुपये खर्च करने पड़ रहे है. जिसका असर महाराष्ट्र सरकार के खजाने पर पड़ रहा है. जिसकी वजह से राज्य की हालत ऐसी हो गई है कि कर्मचारियों के वेतन देने तक के पैसा नहीं है. राज्य सरकार में मंत्री विजय वडेट्टीवार (Vijay Wadettiwar) ने गुरूवार को मीडिया के बातचीत में कहा कि सरकारी कर्मचारियों को अगले माह की सैलरी देने के पैसे राज्य सरकार के पास नहीं है. राज्य के बिगड़ते हालात को लेकर उन्होंने केंद्र सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि केंद्र से राज्य सरकार को कोई फंड नहीं मिला है. जो भी नेता इस तरह की बात कर रहा हैं वह गलत हैं.
विजय वडेट्टीवार ने कहा कि राज्य की हालत ऐसी हो गई है कि सरकार के पास कर्मचारियों के पगार देने के लिए पैसे नहीं होने की वजह से लोग लेना पड़ेगा. उन्होंने कहा कि 3 से 4 विभागों को छोड़कर दिया जाए तो अन्य विभागों में खर्चों में कटौती की गई है. राज्य में ऐसी स्थित कोरोना महामारी के चलते हुई है. वहीं मंत्री वडेट्टीवार ने कोरोना महामारी को लेकर कहा कि राज्य में कोरोना की स्थिति को संभालने के लिए कैश का संकट नहीं है. यह भी पढ़े: महाराष्ट्र की जेलों में भी कोरोना का कहर, 363 कैदी और 102 स्टाफ आया चपेट में, 4 की हुई मौत
केंद्र ने महाराष्ट्र सरकार को नहीं दिया फंड: विजय वडेट्टीवार
We haven't received any fund from Centre if some leader says that we have received fund then he is betraying the state. However, there is no cash crunch for handling #COVID19 situation in the state: Maharashtra Minister Vijay Wadettiwar https://t.co/oDHOkOR7wp
— ANI (@ANI) July 2, 2020
बता दें कि कोरोना महामारी को लेकर महाराष्ट्र सबसे ज्यादा परेशान. राज्य में कोविड-19 के मामलों को रोका जा सके. राज्य सरकार ने 31 जुलाई तक लॉकडाउन बढ़ा दिया गया है. इसके बाद भी राज्य में कोरोना के मामले रुकने के अपेक्षा मामले बढ़ते ही जा रहे हैं. राज्य में कोई ऐसा दिन नहीं होगा जिस दिन 5 हजार से ज्यादा मामले सामने ना आ रहे हो. स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा बुधवार को जारी आंकड़ों के अनुसार कोरोना वायरस से संक्रमित 5,537 नए मामले सामने आए हैं. जिसके बाद कुल संक्रमितों की संख्या बढ़कर 1,80,298 पहुंच गई है. वहीं मरने वालों की संख्या बढ़कर 8 हजार को पार कर गया है.