नयी दिल्ली, 11 सितंबर अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया सोमवार को एक पैसे की मामूली गिरावट के साथ 83.03 प्रति डॉलर के भाव पर लगभग स्थिर बंद हुआ। विदेशी संस्थागत निवेशकों का निवेश बढने के कारण घरेलू शेयर बाजार में रिकार्ड तेजी के बावजूद वैश्विक स्तर पर महंगाई को लेकर चिंता और कच्चे तेल की बढी हुई कीमतों के कारण रुपये की धारणा प्रभावित हुई।
विदेशी मुद्रा कोरोबारियों ने कहा कि विश्व की प्रमुख मुद्राओं की तुलना में डालर के कमजोर होने से हालांकि रुपये को समर्थन मिला और इससे रुपये की गिरावट पर कुछ अंकुश लगा।
अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में रुपया 82.93 पर खुला। दिन में कारोबार के दौरान यह ऊंचे में 82.83 और नीचे में 83.06 तक आया। अंत में अपने पिछले बंद भाव से एक पैसे की गिरावट के साथ 83.03 प्रति डॉलर पर बंद हुआ।
पिछले कारोबारी सत्र में अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया 21 पैसे की तेजी के साथ 83.02 प्रति डॉलर पर बंद हुआ था।
बीएनपी पारिबा बाय शेयरखान के शोध विश्लेषक अनुज चौधरी ने कहा, ''हमारा अनुमान है कि अमेरिकी डॉलर में नरमी, घरेलू शेयर बाजार में तेजी तथा कच्चे तेल के दाम में बढ़त के बीच रुपया कुछ सकारात्मक रहेगा। हालांकि, वैश्विक आर्थिक नरमी को लेकर चिंताएं और अमेरिका के मजबूत आर्थिक आंकड़ों के बीच एफओएमसी (फेडरल ओपन मार्केट कमेटी) द्वारा ब्याज दर में बढ़ोतरी की संभावना बढ़ रही हैं, जिससे रुपये की तेज बढ़त पर लगाम लग सकता है।''
चौधरी ने कहा कि इस सप्ताह भारत और अमेरिका में मुद्रास्फीति के आंकड़ें जारी होने से पहले कारोबार सतर्क रह सकते हैं।
इस बीच, छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 0.42 प्रतिशत घटकर 104.65 रह गया।
वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड वायदा 0.30 प्रतिशत घटकर 90.38 डॉलर प्रति बैरल के भाव पर रहा।
बंबई शेयर बाजार का 30 शेयरों पर आधारित सूचकांक 528.17 अंक की तेजी के साथ 67,000 अंक के स्तर से ऊपर 67,127.08 अंक पर बंद हुआ।
विदेशी संस्थागत निवेशक, पूंजी बाजार में शुद्ध लिवाल रहे। उन्होंने सोमवार को 1,473.09 करोड़ रुपये मूल्य के शेयरों की खरीद की।
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