नयी दिल्ली, नौ सितंबर रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने शुक्रवार को कहा कि रेलवे ने पहिया कारखाना लगाने के लिए निविदा जारी की है जहां हर साल कम-से-कम 80,000 पहियों का विनिर्माण किया जाएगा। साथ ही रेल पहियों का निर्यातक बनने के लिए खाका तैयार किया गया है।
वैष्णव ने कहा कि रेलवे ने पहली बार रेल पहिया संयंत्र लगाने के लिए निजी कंपनियों को आमंत्रित किया है। इस संयंत्र में तेज रफ्तार वाली ट्रेनों के लिए पहिये बनाए जाएंगे।
भारतीय रेल को हर साल दो लाख पहियों की जरूरत है। इस योजना के मुताबिक, स्टील अथॉरिटी ऑफ इंडिया लिमिटेड (सेल) जहां एक लाख पहियों का विनिर्माण करेगी वहीं बाकी एक लाख पहिये इस नए 'मेक इन इंडिया' संयंत्र में बनाए जाएंगे।
वैष्णव ने यहां संवाददाताओं को बताया कि यह निविदा इसी शर्त पर दिया जाएगा कि इस संयंत्र में बनने वाले रेल पहियों का निर्यात भी किया जाएगा और यह निर्यात यूरोपीय बाजार को किया जाएगा। निविदा में यह प्रावधान भी किया गया है कि संयंत्र को 18 महीनों के भीतर स्थापित कर लिया जाएगा।
ट्रेन 'वंदे भारत' में इस्तेमाल होने वाले पहिये युद्ध का सामना कर रहे यूक्रेन में फंसे हुए हैं और इन ट्रेनों का समय पर उत्पादन पूरा करने के लिए उन्हें देश लाना होगा।
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