Nithyananda Bans People From India To Kailasa: स्वामी नित्यानंद ने भारत से कैलासा आनेवाले यात्रियों पर लगाया प्रतिबंध, COVID-19 का दिया हवाला
स्वामी नित्यानंद (File Image)

Nithyananda Bans People From India To Kailasa: दुनिया भर में कोविड-19 (COVID-19) से संक्रमित होने वालों की तादात में तेजी से बढ़ोत्तरी का सिलसिला जारी है. कोरोना संक्रमण के बीच किसी रिमोट आइलैंड (Remote Island) पर भागने का सपना देखना बिल्कुल आम है. ऐसे में स्वयंभू धर्मगुरु स्वामी नित्यानंद (Self-Styled Godman Nithyananda) द्वारा साल 2019 में स्थापित किया गया कैलासा द्वीप (Kailasa Island) भी यात्रा करने के लिए अगर आपकी लिस्ट में शामिल है तो आपके लिए बुरी खबर है. दरअसल, अपने एक बयान में स्वामी नित्यानंद (Swami Nithyananda) ने घोषणा की है कि भारत से आनेवाले भक्तों को कैलासा (Kailasa) में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी जाएगी. इसके पीछे उन्होंने कोविड-19 का हवाला दिया है.

उन्होंने कहा कि सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि ब्राजील, यूरोपीय संघ और मलेशिया से आने वाले यात्रियों पर भी प्रतिबंध लगाया गया था. यह फैसला दुनिया भर में बढ़ते कोविड-19 मामलों को देखते हुए किया गया था. बयान के साथ ट्वीट में लिखा गया है कि कैलासा का अध्यक्षीय जनादेश कार्यकारी आदेश #SPH से सीधे दुनिया भर में कैलासा के सभी दूतावासों के लिए है.

देखें ट्वीट

ताजा बयान में उन्होंने लिखा- कैलासा के सभी वास्तविक दूतावास से जुड़े सभी कैलाशियन्स, ईकैलाशियन्स खुद को क्वारंटीन कर रहे हैं और स्थानीय कानूनों द्वारा बताए गए एहतियाती उपायों का पालन करना चाहते हैं. इस कार्यकारी आदेश को पढ़ने के बाद ट्विटर यूजर्स ने इस पर अपनी प्रतिक्रियाएं दी हैं. यह भी पढ़ें: Swami Nithyananda's Kailasa Island: स्वामी नित्यानंद ने अपने हिंदू द्वीप के लिए शुरू की E-Visa और Passport की प्रक्रिया, वीडियो किया जारी

बता दें कि स्वामी नित्यानंद साल 2019 से इक्वाडोर के तट पर स्थित द्वीप पर छुपे हुए हैं. वह यौन उत्पीड़न का आरोप लगने के बाद से भारत से फरार हैं, तब से नित्यानंद संयुक्त राष्ट्र से कैलासा को एक अलग देश घोषित करने की अपील कर रहे हैं. अगस्त 2020 में नित्यानंद ने अपना स्वयं का रिजर्व बैंक ऑफ कैलासा भी लॉन्च किया. द्वीप की आधिकारिक मुद्रा को कैलाशियन डॉलर घोषित किया गया था.

वेबसाइट के अनुसार, अविवाहितों के लिए कैलासा एक ऐसा राष्ट्र है जो दुनिया भर के हिंदुओं द्वारा फैलाया गया है, जिन्होंने अपने ही देशों में प्रामाणिक रूप से हिंदू धर्म का अभ्यास करने का अधिकर खो दिया है. इसे सनातन हिंदू धर्म के संरक्षण और दूसरों के साथ साझा करने के लिए बनाया गया है.