नई दिल्ली: भारत के मौसम विभाग (IMD) ने कहा कि दक्षिण-पश्चिम मॉनसून के 28 अक्टूबर, 2020 तक बंगाल की खाड़ी और दक्षिण-पूर्व प्रायद्वीपीय भारत के निचले ट्रोफोस्फेरिक स्तरों में उत्तर-पश्चिमी हवाओं के जमाव के साथ भारत से हटने की उम्मीद है. अपने अखिल भारतीय मौसम बुलेटिन में, आईएमडी ने कहा कि पूर्वोत्तर मानसून की बारिश 28 अक्टूबर, 2020 के आसपास तमिलनाडु और पुदुचेरी, तटीय आंध्र प्रदेश और कर्नाटक और केरल के आसपास के क्षेत्रों में भी शुरू होने की संभावना है.
आईएमडी ने कहा कि दक्षिण पश्चिम मॉनसून की वापसी की रेखा कूचबिहार, श्रीनिकेतन, रांची, पेंड्रा रोड, मंडला, नरसिंहपुर, इंदौर, वल्लभ विद्यानगर, पोरबंदर से होकर गुजर रही है. मौसम प्रणाली के बारे में बात करते हुए आईएमडी ने कहा, कि ओडिशा तट से दूर बंगाल की उत्तर-पश्चिमी खाड़ी में एक डिप्रेशन 24 किमी प्रति घंटे की गति के साथ उत्तर-पूर्व की ओर बढ़ गया है. इसके शुक्रवार की दोपहर के आसपास सागर द्वीप (पश्चिम बंगाल) और खेपूपारा (बांग्लादेश) के बीच बंगाल और बांग्लादेश के तटों को पार करने की संभावना है.
मौसम की स्थिति के मद्देनजर त्रिपुरा, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम और दक्षिण असम और मेघालय में अगले कुछ दिनों में अत्यधिक भारी वर्षा होने की संभावना है. इस दौरान, बंगाल की उत्तरी खाड़ी और उत्तरी ओडिशा-पश्चिम बंगाल-बांग्लादेश के तटों पर मछुआरों को अगले 24 घंटों के दौरान न जानेकी सलाह दी गई है.