
Owaisi on India-Pakistan Ceasefire: भारत और पाकिस्तान के बीच अचानक हुए युद्ध विराम पर एआईएमआईएम प्रमुख और हैदराबाद से सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने कई गंभीर सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने साफ कहा है कि युद्ध विराम हो या न हो, भारत को पहलगाम आतंकी हमले में शामिल आतंकियों का पीछा करना जारी रखना चाहिए. ओवैसी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर पोस्ट करते हुए कहा कि उन्हें यह बात खटकी कि युद्ध विराम की घोषणा किसी विदेशी राष्ट्रपति यानी अमेरिका के जरिए हुई, न कि भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के द्वारा.
उन्होंने कहा, "हमने शिमला समझौते के बाद से हमेशा तीसरे पक्ष की दखलअंदाजी का विरोध किया है, फिर अब ऐसा क्यों किया गया?"
असदुद्दीन ओवैसी ने सीजफायर पर उठाए सवाल
जब तक पाकिस्तान भारत के खिलाफ आतंकवाद के लिए अपनी ज़मीन का इस्तेमाल करता रहेगा, तब तक स्थायी शांति संभव नहीं है। #सीज़फायर हो या न हो, हमें #पहलगाम हमले के लिए ज़िम्मेदार आतंकवादियों का पीछा नहीं छोड़ना चाहिए।
जब जब बाहरी आक्रमण हुआ है मैं सरकार और सशस्त्र बलों के साथ खड़ा रहा… https://t.co/QJt3uMEWqJ
— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) May 10, 2025
'पाकिस्तान आतंकवाद को समर्थन देता रहेगा'
सांसद ओवैसी ने अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए कहा कि जब तक पाकिस्तान भारत के खिलाफ आतंकवाद को समर्थन देता रहेगा और अपने भूभाग का इस्तेमाल कराएगा, तब तक स्थायी शांति की कोई उम्मीद नहीं की जा सकती. उन्होंने कहा कि वो सरकार और सशस्त्र बलों के साथ हमेशा खड़े हैं और आगे भी खड़े रहेंगे.
ओवैसी ने पहलगाम हमले के दौरान शहीद हुए जवान एम मुरली नाइक और एडीडीसी राज कुमार थापा को श्रद्धांजलि दी. इसके अलावा उन्होंने उन सभी नागरिकों के लिए भी संवेदना जताई जो हमलों में मारे गए या घायल हुए.
'भारत सीजफायर के लिए क्यों राजी हुआ?'
उन्होंने उम्मीद जताई कि संघर्ष विराम से सीमावर्ती इलाकों में रहने वाले लोगों को राहत मिलेगी, लेकिन साथ ही देशवासियों और राजनीतिक दलों से अपील की कि वे बीते दो हफ्तों के घटनाक्रम पर गंभीरता से सोचें. उन्होंने कहा, “भारत तब मजबूत होता है जब वह एकजुट होता है, लेकिन जब भारतीय आपस में लड़ते हैं तो हमारे दुश्मनों को फायदा होता है.”
ओवैसी ने यह भी सवाल उठाया कि भारत आखिर तटस्थ क्षेत्र में बातचीत के लिए क्यों राजी हुआ और इन वार्ताओं का एजेंडा क्या है, यह जनता को स्पष्ट क्यों नहीं बताया गया?
क्या अमेरिका ये गारंटी दे सकता है: ओवैसी
उन्होंने सरकार से पूछा, "क्या अमेरिका ये गारंटी दे सकता है कि पाकिस्तान अपने क्षेत्र का उपयोग अब आतंकवाद के लिए नहीं करेगा? क्या भारत सरकार पाकिस्तान को भविष्य में आतंकी गतिविधियों से रोकने में सफल हुई है?"
ओवैसी ने अंत में तीखा सवाल किया कि भारत का असली मकसद क्या था, अमेरिका की मध्यस्थता में युद्ध विराम करवाना या पाकिस्तान को इस हद तक झुका देना कि वो दोबारा भारत पर हमले का सपना भी न देख सके?