Indian Railway: खाने की लिए रेलवे स्टेशनों पर खुलेंगे फूड प्लाजा काउंटर, लेकिन रखी गई है यह शर्त
खाने का काउंटर/रेलवे स्टेशन (Photo Credits: Twitter)

Indian Railway 2020: थमी हुई जिंदगी को धीरे-धीरे पटरी पर लाने की शुरूआत हो गई है. लॉकडाउन में ढील के बाद अब 100 जोड़ी ट्रेनें एक जून से देश के कई हिस्सों तक दौड़ने लगेंगी. ट्रेने नए दिशा-निर्देशों के साथ ही चलेंगी. इसके लिए रेलवे की ओर से गाइडलाइन भी जारी कर दी गई है. 100 जोड़ी ट्रेनों में एक्सप्रेस, जन, शताब्दी सहित कई लंबी दूरी की ट्रेनें शामिल की गई हैं. इसके अलावा स्टेशनों पर भी अब लोगों को खाने-पीने के लिए ज्यादा परेशान नहीं होना पड़ेगा, क्योंकि रेलवे ने कुछ शर्तों के साथ फूड प्लाजा जैसे काउंटर खोलने की अनुमति दे दी है.

आकाशवाणी से बातचीत में रेलवे के कार्यकारी निदेशक राजेश बाजपेयी ने बताया पहले कुछ ट्रेनों में पहले से ही किराया ले लिया जाता था और यात्रियों को खाना मुहैया कराया जाता था, लेकिन अब इस तरह की व्यवस्था खत्म कर दी गई है. लोगों को घर से खाना लाने को कहा गया है. अगर कोई नहीं लाता तो ट्रेन में पैक्ड फूड, पानी की बोतल आदि की व्यवस्था की गई है. इसके अलावा रेलवे ने स्टेशन पर फूड स्टॉल या फूड प्लाजा खोलने का निर्णय लिया है, लेकिन एक शर्त है कि कोई भी यात्री वहां पर बैठ कर खाना नहीं खा सकता. वैसे घर से खाना और पानी लेकर आएंगे तो ज्यादा सुरक्षित है. इसके अलावा कुछ स्टेशन पर कुछ बुक स्टॉल और मेडिकल के काउंटर भी खोलने की अनुमति है.

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सीएससी पर जाकर करा सकते हैं टिकट बुकिंग

रलवे यात्रियों की सुविधा के लिए हर संभव कोशिश में लगी हुआ है जिससे उन्हें लंबी यात्रा में किसी तरह की परेशानी न हो. कई बार कुछ लोगों को ऑनलाइन आईआरसीटीसी के जरिए टिकट बुकिंग में परेशानी हो रही थी. ऐसे में लोगों के लिए देश भर में मौजूद 1 लाख 70 हजार सीएससी यानी कॉमन सर्विस सेंटर से भी बुकिंग की सुविधा उपलब्ध करवा दी गई है. कोई भी व्‍यक्ति कॉमन सर्विस सेंटर पर जाकर ई-टिकट बुक करवा सकता है.

सभी ट्रेन नंबर के आगे लगाया गया जिरो

ये सभी ट्रेने अभी नए नियमों के अनुसार चल रही हैं इसलिए कुछ लोग ट्रेन के नंबर को लेकर परेशान न हों क्योंकि जो ट्रेनें पहले चलती थीं, वही ट्रेनें हैं और उन्हीं नंबरों से चल रही हैं. सिर्फ ट्रेन के नंबरों के आगे जीरो लगा दिया गया है. हालाकि कार्यकारी निदेशक ने साफ किया कि जो दिव्यांग और मरीज हैं उनके लिए दी जाने वाली विशेष छूट बहाल है. लेकिन छूट के लिए एक बार स्टेशन के काउंटर पर आकर कागज या जो भी दस्तावेज हैं उन्हें दिखाना होगा. जिन ट्रेनों में विकलांगों के लिए कोच पहले से मौदूज के तो वो वैसे ही रहेंगे.

जनरल डिब्बों में भी होगी बुकिंग

जैसा की सभी जानते हैं अब ट्रेने में वही लोग चढ़ सकेंगे जिनके पास कंफर्म टिकट होगा चाहे वो स्पेशल ट्रेनें हो या फिर श्रमिक स्पेशल ट्रेनें. क्योंकि अब जनरल में भी बुकिंग की सुविधा कर दी गई है. राजेश बाजपेयी ने बताया कि वायरस से बचने के लिए सोशल डिस्टेंसिंग जरूरी है. जनरल डिब्बों में भीड़ को कम करने के लिए सीटिंग रिजर्वेशन की व्यवस्था की गई है, ताकि सोशल डिस्टेंसिंग बनी रहे. अब ट्रेनों के जनरल डिब्बों में जितनी सीटें होंगी, उतने लोग ही जाएंगे. अभी जनरल डिब्बों में आईआरसीटीसी के जरिए ही ऑनलाइन बुकिंग होगी. आने वाले दिनों में काउंटर खुलेगा तो वहां से आप टिकट बुक करा सकेंगे.

क्या है आरएसी की व्यवस्था

इसके साथ ही उन्होंने कहा कि वेटिंग की जगह आरएसी की सुविध की गई है. दरअसल आरएसी का मतलब रिजर्वेशन अगेंस्ट कैंसिलेशन होता है. जो लोग कंफर्म टिकट आखिरी क्षण पर कैंसिल कराते हैं, उन टिकटों को रिज़र्व रखा जाता है. इन टिकटों पर पहले कुछ वेटिंग लिस्ट के लोग भी सवार हो जाते थे, क्योंकि ऐसे वेटिंग लिस्ट वाले लोगों को बाद में टिकट दे दिया जाता था, लेकिन रेलवे अब इस बात पर ध्यान दे रहा है कि वेटिंग लिस्ट का कोई भी व्यक्ति यात्रा नहीं कर सके. अब जब वेट लिस्ट बंद है तो आरएसी वाले लोगों को रखा गया है, ताकि अगर आखिरी क्षण में टिकट कैंसिल होता है तो उन्हें आसानी से सीट मिल सके.

आपको बता दें कि स्टेशन पर पहुंचने के लिए मास्क जरूरी है. स्टेशन पर 90 मिनट पहले पहुंचना है, ताकि हेल्थ चेकअप हो सके. जो 15 जोड़ी राजधानी स्पेशल ट्रेनें हैं, उनकी एडवांस बुकिंग 7 दिन की है. एक जून से जो ट्रेनें चलने वाली हैं, उनकी एडवांस बुकिंग एक महीने तक की रखी गई है.