Maharashtra: शराब छोड़ने वालों के बच्चों को दी जाएगी छात्रवृत्ति
छात्र (Photo Credits: Twitter)

पुणे (महाराष्ट्र), 14 अगस्त : चालीस वर्षीय मोहन कोपनर उन चुनिंदा लोगों में शामिल हैं, जो 15 अगस्त को अपने गांव के सामने हमेशा के लिए शराब छोड़ने का 'संकल्प' लेने जा रहे हैं. मोहन के इस फैसले से उनका परिवार बहुत खुश है. पश्चिमी महाराष्ट्र में सोलापुर जिले की करमाला तहसील के अंतर्गत गौंदरे गांव के निवासी उस पहल का हिस्सा हैं जो स्वेच्छा से शराब छोड़ने और स्वास्थ्य की रक्षा व परिवार के कल्याण पर केंद्रित है.

इस पहल के तहत उन लोगों के बच्चों को छात्रवृत्ति प्रदान की जाएगी, जो शराब का सेवन छोड़ने जा रहे हैं. करमाला की पंचायत समिति ने तहसील के 100 से अधिक गांवों में लोगों को शराब के सेवन से रोकने के लिए कुछ गैर-सरकारी संगठनों (एनजीओ) के साथ मिलकर एक नयी योजना शुरू की है, जिसका नाम है- 'शराब पीना बंद करो और बच्चों के लिए छात्रवृत्ति पाओ'. इसी योजना ने कोपनर को शराब से दूर रहने का संकल्प लेने के लिए प्रोत्साहित किया है. यह भी पढ़ें : समृद्ध, सुरक्षित भारत के लिए हर व्यक्ति को अपने स्तर पर प्रयास करना होगा : योगी आदित्यनाथ

खंड विकास अधिकारी (बीडीओ) मनोज राउत ने कहा कि योजना के तहत, लोगों को स्वतंत्रता दिवस पर अपने गांव के सामने शराब का कभी सेवन नहीं करने का संकल्प लेना होगा. उन्होंने कहा, ''जो व्यक्ति शराब छोड़ने के संकल्प का सख्ती से पालन करेगा, उसके बच्चों को ठीक एक साल बाद 15 अगस्त, 2023 को 'छात्रवृत्ति' से पुरस्कृत किया जाएगा, और उस व्यक्ति को सम्मानित किया जाएगा.'' कोपनर ने 'पीटीआई-' से कहा कि वह एक खेतिहर मजदूर हैं और उनकी दो बेटियां और एक बेटा है.