सबरीमाला (केरल), 14 जनवरी भारी भीड़ और घंटों लंबी कतारों का सामना करते हुए तीर्थयात्रियों का एक समूह मंगलवार को प्रसिद्ध भगवान अयप्पा मंदिर में ‘मकरविलक्कु’ के दिन पूजा करने के लिए पहुंचा।
पारंपरिक काले परिधान और मोतियों की माला पहने, सभी आयु वर्ग के तीर्थयात्री, इस दिन मुख्य देवता भगवान अयप्पा के दर्शन करने के लिए सुबह से ही मंदिर के ऊंचे रास्तों पर इंतजार करते रहे।
कड़ाके की ठंड और लंबी कतारों के बावजूद अयप्पा भक्तों का उत्साह कम नहीं हुआ, जो अपने सिर पर 'इरुमुदी केट्टू' (एक पारंपरिक गठरी जिसे श्रद्धालु मंदिर में लाते हैं) रखकर "स्वामीये शरणम् अयप्पा" मंत्र का जाप कर रहे थे।
इस दौरान मकर ज्योति देखने के लिए बड़ी संख्या में श्रद्धालु आसपास के विभिन्न स्थानों पर एकत्रित हुए।
केरल सरकार द्वारा त्रावणकोर देवस्वोम बोर्ड (टीडीबी) और वन विभाग के सहयोग से पोन्नम्बलमेडु में ज्योति प्रज्वलित करना, पहाड़ी के पास रहने वाले आदिवासी परिवारों की परंपरा का ही एक हिस्सा है।
राज्य सरकार और मंदिर का प्रबंधन करने वाली सर्वोच्च संस्था टीडीबी ने भीड़ प्रबंधन के लिए व्यापक प्रबंध किए और मंदिर व उसके परिसर में श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित की।
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