वाशिंगटन: कोरियाई प्रायद्वीप के लिए अमेरिकी सेना के शीर्ष कमांडर ने कहा कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और उत्तर कोरियाई नेता किम जोंग-उन के बीच परमाणु वार्ता के बाद से दोनों देशों के बीच के तनाव में कमी आई है लेकिन बावजूद इसके उत्तर कोरिया की सैन्य क्षमताओं में कोई उल्लेखनीय परिवर्तन नहीं हुआ है.
कमांडर ऑफ यूएस फोर्सेज कोरिया के जनरल रॉबर्ट अब्राम्स ने 27-28 फरवरी को वियतनाम में ट्रंप और किम के बीच दूसरी शिखर बैठक से पहले मंगलवार को सीनेट सशस्त्र सेवा समिति के समक्ष यह बात कही.
'सीएनएन' की रिपोर्ट के अनुसार, अब्राम्स ने दूसरी बैठक को 'निरंतर वार्ता का सकारात्मक संकेत' बताया लेकिन साथ ही कहा कि उत्तर कोरिया अभी एक सैन्य खतरा बना हुआ है जिसके लिए अमेरिका को तैयार रहना चाहिए.
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उन्होंने कहा, "मैं इस तथ्य पर स्पष्ट हूं कि डिमिल्रिटाइज्ड जोन (डीएमजेड) पर तनाव में कमी, रणनीतिक उकसावों की समाप्ति और परमाणु निरस्त्रीकरण पर सकारात्मक सार्वजनिक बयानों के बावजूद उत्तर कोरिया की सैन्य क्षमताओं में कोई खास कमी नहीं आई है."
उन्होंने कहा कि प्योंगयांग की सैन्य क्षमताएं अमेरिका, दक्षिण कोरिया और सहयोगियों के लिए जोखिम हैं और इसलिए अमेरिकी सेना को किसी भी संभावित आक्रामक कदम को रोकने के लिए तैयार रहना जरूरी है.