ताइपे: ताइवान (Taiwan) और चीन (China) के बीच अंदरूनी तनाव अपने चरम पर पहुंच चुका है. देश के एयर डिफेंस आइडेंटिफिकेशन ज़ोन में लड़ाकू जेट उड़ाने के बाद ताइवान ने गुरुवार को चीन को धमकी दी है. ताइवान के उप-राष्ट्रपति लाइ चिंग-ते (Lai Cheng-te) ने कहा कि देश अपने लोगों की रक्षा करेगा. चीन को फटकारते हुए लाइ चिंग-ते ने कहा कि चीन अपनी हद में रहे. उन्होंने चेतानवी देते हुए कहा कि चीन को अब गलती नहीं करनी चाहिए.
ताइवान के राजनेता लाइ चिंग-ते ने ट्वीट कर कहा “सीमा को पार न करें. चीन ने आज फिर ताइवान के एयर डिफेंस आइडेंटिफिकेशन ज़ोन में अपना लड़ाकू जेट उड़ाया. कोई गलती न करें, ताइवान शांति चाहता है लेकिन हम अपने लोगों की रक्षा भी करेंगे.” चीन अपने दक्षिण-पश्चिमी तट से बड़े पैमाने पर एयर और नौसैनिक अभ्यास कर रहा है. ताइवान ने इसे अंतरराष्ट्रीय हवाई यातायात के लिए खतरा करार दिया है. SCO Summit 2020: रूस, भारत व चीन के विदेश मंत्रियों ने मास्को में त्रिपक्षीय वार्ता की
Don’t cross the line. China again flew fighter jets into Taiwan’s Air Defense Identification Zone today. Make no mistake, Taiwan wants peace but we will defend our people.
— 賴清德Lai Ching-te (@ChingteLai) September 10, 2020
जापान ने वर्ष 1945 में ताइवान को चीन के हवाले किया था. चार साल के बाद चीनी गृहयुद्ध में माओत्से तुंग के नेतृत्व में कम्युनिस्ट पार्टी द्वारा चीन पर कब्जा करने के बाद चियांग काई शेक ने चीनी गणराज्य को ताइवान में स्थापित किया. बीते हफ्ते ताइवान के विदेश मंत्रालय ने नया पासपोर्ट जारी किया जिसमें बड़े अक्षरों में अंग्रेजी में प्रमुखता से ‘ताइवान’ लिखा है जबकि छोटे-छोटे शब्दों में ‘चीनी गणराज्य’ लिखा है, जो ताइवान के संविधान के अनुसार उसका आधिकारिक नाम है.
चीन का कहना है कि उसकी ‘एक चीन नीति’ उसकी विदेश नीति का मूलतत्व है और उसे उन सभी देशों ने मान्यता दी है जिन्होंने उसके साथ राजनयिक संबंध स्थापित की है. ताइवान चीन क्षेत्र का अविभाज्य हिस्सा है तथा ताइवान मुद्दे पर एक चीन नीति को चुनौती देना यानी 1.4 अरब चीनियों को दुश्मन बनाना एवं अंतरराष्ट्रीय विश्वास एवं आचरण का उल्लंघन करना है. चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने कुछ दिन पहले यह बात चेक के सीनेट के अध्यक्ष की ताइवान यात्रा को लेकर कही थी.