प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) आज रात करीब 8.30 बजे अरुण जेटली (Arun Jaitley) के आवास पर पहुंचे. पीएम मोदी अरुण जेटली के घर पर करीब 25 मिनट तक रुके. इससे पहले न्यूज एजेंसी एएनआई ने सूत्रों के हवाले से बताया था कि इस दौरान पीएम मोदी अरुण जेटली से अपने पहले के फैसले पर पुनर्विचार करने और सरकार (Government) में बने रहने को कहेंगे. दरअसल, अरुण जेटली ने बुधवार को केन्द्र में बनने वाली नई सरकार में अपनी भूमिका को लेकर पिछले कुछ दिनों से चल रही उहापोह को समाप्त कर दिया. उन्होंने खराब स्वास्थ्य के चलते नई सरकार में मंत्री बनने से इनकार किया. उन्होंने प्रधानमंत्री को भेजा गया अपना पत्र ट्विटर और फेसबुक पर भी डाला. जेटली ने कहा कि हाल ही में संपन्न चुनाव में बीजेपी को भारी बहुमत मिलने के तुरंत बाद उन्होंने अपनी अघोषित बीमारी का इलाज के लिए समय देने के बारे में मोदी को सूचित किया था.
अरुण जेटली ने कहा, ‘‘मैं आपसे औपचारिक रूप से यह निवेदन करने के लिए लिख रहा हूं कि मुझे अपने लिए, अपनी चिकित्सा के लिए और अपने स्वास्थ्य के लिये कुछ समय चाहिए और इस कारण मुझे अभी नई सरकार में कोई जिम्मेदारी न दी जाए.’’ जेटली को पिछले सप्ताह जांच और इलाज के लिये एम्स में भर्ती होना पड़ा था. उन्हें चुनाव परिणाम की घोषणा वाले दिन गुरुवार को अस्पताल से डिस्चार्ज किया गया था. हालांकि जेटली उस दिन शाम में बीजेपी मुख्यालय में आयोजित जीत के जश्न समारोह में शामिल नहीं हो पाए थे.
Delhi: Prime Minister Narendra Modi leaves from the residence of Arun Jaitley. pic.twitter.com/n07Z49ulN5
— ANI (@ANI) May 29, 2019
Delhi: Prime Minister Narendra Modi arrives at the residence of Arun Jaitley. pic.twitter.com/iy6zn8EbjI
— ANI (@ANI) May 29, 2019
Sources: Prime Minister Narendra Modi will drive down to Arun Jaitley's residence around 8.30 PM today. PM is likely to ask Arun Jaitley to reconsider his earlier decision and remain in Government. pic.twitter.com/QgaEgyODq6
— ANI (@ANI) May 29, 2019
जेटली ने पत्र में लिखा कि पिछले 18 महीनों में उन्होंने कुछ गंभीर स्वास्थ्य चुनौतियों का सामना किया है. उन्होंने कहा, ‘‘मेरे चिकित्सकों ने उनमें से अधिकांश चुनौतियों से मुझे सफलतापूर्वक बाहर निकाला है. जब चुनाव प्रचार खत्म हो चुका था और आप केदारनाथ जा रहे थे, तो मैंने आप से जुबानी कहा था कि चुनाव प्रचार के दौरान मुझे जो जिम्मेदारियां दी गयी थीं, मैं उन्हें पूरा करने में यद्यपि समर्थ रहा लेकिन भविष्य में कुछ समय के लिए मैं जिम्मेदारी से दूर रहना चाहूंगा. इससे मैं अपने स्वास्थ्य एवं चिकित्सा पर ध्यान दे सकूंगा.’’ यह भी पढ़ें- शपथ से पहले पीएम मोदी को अरुण जेटली ने पत्र लिखकर कहा- मुझे दोबारा मंत्री बनाने पर विचार न करें
बता दें कि अरुण जेटली 2009 से 2014 के दौरान राज्यसभा में विपक्ष के नेता रह चुके हैं. जेटली पेशे से वकील हैं और मोदी के मंत्रिमंडल में सबसे महत्वपूर्ण मंत्री रहे हैं. उन्होंने अक्सर सरकार के लिये मुख्य संकटमोचक का काम किया है.
भाषा इनपुट