नई दिल्ली: राज्यसभा में हुए एक सवाल के जवाब में केंद्र सरकार ने बताया कि पिछले चार साल में हुईं सड़क दुर्घटनाओं में छह लाख से अधिक लोगों की मौत हुई है. राज्यसभा सांसद हरनाथ सिंह यादव, विजय पाल सिंह तोमर और डीपी वत्स के अतारांकित सवाल के जवाब में केंद्र सरकार के सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने सोमवार को यह जानकारी दी है.
दरअसल, राज्यसभा सांसदों ने देश में हुए सड़क हादसों का ब्योरा और दुर्घटना पीड़ितों के लिए कैशलेस उपचार योजना के बारे में सवाल पूछा था. इसका लिखित में जवाब देते हुए केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने पुलिस विभाग से मिले आंकड़े उपलब्ध कराए. उन्होंने कैलेंडर वर्षों अर्थात 2016 से 2019 के दौरान राष्ट्रीय राजमार्गों पर सड़क दुर्घटनाओं में मारे गए व्यक्तियों का ब्यौरा दिया. यह भी पढ़े: Road Accident: घने कोहरे की वजह से पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी में भीषण सड़क हादसा, 13 की मौत, कई जख्मी
2016 से 2019 के बीच मरने वालों की कुल संख्या 601,228 रही. आंकड़ों के मुताबिक, वर्ष 2016 में 1,50,785, 2017 में 1,47,913, 2018 में 1,51,417 लोगों की मौत हुई, वहीं 2019 में हुए सड़क हादसों में 1,51,113 लोगों की मौत हुई. केंद्रीय मंत्री ने बताया कि तेज गति से वाहन चलाने, शराब का सेवन, गलत साइड में वाहन चलाने, मोबाइल फोन का उपयोग करने, खराब मौसम, सड़क की स्थिति आदि कारणों से सड़क हादसे होते हैं. सड़क हादसे रोकने के लिए कई स्तर की रणनीति पर काम चल रहा है.
उन्होंने बताया कि मोटर यान(संशोधन) अधिनियम, 2019 में दुर्घटना पीड़ितों का गोल्डन ऑवर के दौरान कैशलेस उपचार करने की योजना का प्रावधान किया गया है। भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण ने राष्ट्रीय राजमार्गों के पूर्ण किए गए गलियारों के टोल प्लाजा पर 550 एंबुलेंस भी तैनात की हैं.