Jagannath Rath Yatra 2020: जानें सुप्रीम कोर्ट से रोक हटने पर क्या बोले गृहमंत्री अमित शाह और भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा?
अमित शाह (Photo Credits-ANI Twitter)

Jagannath Rath Yatra 2020: सुप्रीम कोर्ट ने ओडिशा के पुरी में भगवान जगन्नाथ की रथयात्रा पर लगी रोक हटाई तो बीजेपी के शीर्ष नेताओं ने खुशी जताई है. गृहमंत्री अमित शाह और भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा है कि इससे देश मे उत्साह और आनंद का माहौल है. सुप्रीम कोर्ट ने कोरोना वायरस के मद्देनजर बीते 18 जून को इस रथयात्रा के आयोजन पर रोक लगा दी थी. मगर, सोमवार को हुई सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले को पलट दिया. गृहमंत्री अमित शाह ने रथयात्रा के पक्ष में फैसला आने के बाद कहा, "आज का दिन हम सबके लिए, विशेषकर ओडिशा के हमारे भाइयों-बहनों और भगवान जगन्नाथ के भक्तों के लिए एक शुभ दिन है. रथयात्रा को सुप्रीम कोर्ट की मंजूरी मिलने से पूरे देश में उत्साह और आनंद का माहौल है. यह मेरे साथ-साथ देशभर के करोड़ों श्रद्धालुओं के लिए हर्ष की बात है कि प्रधानमंत्री मोदी ने न केवल श्रद्धालुओं की भावनाओं को समझा, बल्कि इस मामले का सकारात्मक हल निकले, इसके लिए तुरंत प्रयास शुरू किए, जिससे हमारी यह महान परंपरा कायम रही."

उन्होंने कहा, "कल शाम मैंने प्रधानमंत्री जी की सलाह पर गजपति महाराज जी (पुरी के राजा) और पुरी के शंकराचार्य जी से बात की और यात्रा को लेकर उनके विचारों को जानकर प्रधानमंत्री जी को अवगत कराया. आज सुबह प्रधानमंत्री के निर्देश पर सॉलिसिटर जनरल से भी बातचीत की."

वहीं भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा, "सदियों से चल रही महाप्रभु जगन्नाथ जी की पावन रथयात्रा को उसी भक्ति भाव से संचालित करने के सुप्रीम कोर्ट के निर्णय का हार्दिक स्वागत करता हूं. यह हमारी आस्था का प्रतीक है. सभी श्रद्धालुओं को शुभकामनाएं। सभी से अनुरोध है, इस समय स्वास्थ्य नियमों का पूरा ध्यान रखे. जय जगन्नाथ!"

जेपी नड्डा ने कहा, "प्रधानमंत्री मोदी का ह्रदय से आभार। जिन्होंने श्रद्धालुओं की भावना का सम्मान करते हुए तुरंत सभी पक्षों के साथ चर्चा शुरू करवाई. मैं धन्यवाद देता हूं,हमारे माननीय गृहमंत्री अमित शाह को जिनके सार्थक प्रयासों से पावन रथयात्रा को पुन: शुरू करने का मार्ग प्रशस्त हुआ. सभी की आस्था का सम्मान करते हुए व विषय के महत्व को देखते हुए सुप्रीम कोर्ट की अवकाश पीठ के सामने रखा गया और आज दोपहर को हुई सुनवाई में कोर्ट द्वारा महत्वपूर्ण निर्णय का मार्ग प्रशस्त किया."