नई दिल्ली, 19 अप्रैल: प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने इंदौर (एमपी), ग्रेटर नोएडा (यूपी), सोलन (एचपी) और गांधी नगर (गुजरात) में 21.31 करोड़ रुपये के आवासीय फ्लैट के रूप में नरेश जैन की पांच अचल संपत्तियों को कुर्क किया है. ईडी ने कहा कि भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत दंडनीय अपराधों के लिए दिल्ली पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा द्वारा दर्ज एक प्राथमिकी के आधार पर ईडी द्वारा नरेश जैन और अन्य के खिलाफ एक ईसीआईआर दर्ज करके धन शोधन निवारण अधिनियम, 2002 के तहत कार्यवाही शुरू की गई थी. यह भी पढ़ें: SC On Divorce: शादी के बाद सेटल होने में समय लगता है, सिर्फ 40 दिन बाद तलाक लेकर पति-पत्नी अलग नहीं हो सकते: सुप्रीम कोर्ट
जांच एजेंसी को पता चला कि जैन और अन्य ने अपने कमीशन के बदले सह-साजिशकर्ताओं यानी लाभार्थियों को आवास प्रविष्टियां प्रदान करने के लिए अंतरराष्ट्रीय हवाला संचालन और घरेलू संचालन किया. एजेंसी के आरोप के अनुसार नरेश जैन ने अपने सहयोगियों, करीबी लोगों, कर्मचारियों और अन्य लोगों के साथ फर्जी कंपनियों की स्थापना की.
अधिकारी ने कहा, जांच से पता चला है कि जैन ने 450 भारतीय और 104 विदेशी संस्थाओं को शामिल और संचालित किया है. इन संस्थाओं को मूल पहचान प्रमाणों और डमी शेयरधारकों और निदेशकों के दस्तावेजों के साथ-साथ इन शेयरधारकोंऔर निदेशकों के पहचान प्रमाणों और दस्तावेजों का उपयोग करके शामिल किया गया था.