मुंबई, आठ फरवरी मुद्रास्फीति को काबू में रखने के मकसद से लगातार छठी बार प्रमुख ब्याज दरों को अपरिवर्तित रखने के रिजर्व बैंक के फैसले के बाद रुपया बृहस्पतिवार को 82.96 प्रति डॉलर पर स्थिर बंद हुआ।
बाजार सूत्रों ने कहा कि घरेलू शेयर बाजार में कमजोरी के रुख से निवेशकों की कारोबारी धारणा प्रभावित हुई।
अंतरबैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में रुपया 82.94 प्रति डॉलर पर खुला। कारोबार के दौरान यह सीमित दायरे में कारोबार के बाद अंत में 82.96 प्रति डॉलर पर अपरिवर्तित रुख लिये बंद हुआ।
कारोबार के दौरान रुपये ने 82.89 के उच्च स्तर और 83 के निचले स्तर को छुआ।
रुपया बुधवार को अमेरिकी डॉलर के मुकाबले नौ पैसे मजबूत होकर 82.96 रुपये प्रति डॉलर पर बंद हुआ था।
एचडीएफसी सिक्योरिटीज के शोध विश्लेषक दिलीप परमार ने कहा, ‘‘केंद्रीय बैंक द्वारा नीतिगत दर और अपने रुख को बरकरार रखने के बाद कारोबारियों को मायूसी हुई। घरेलू इक्विटी बाजार ने इसे नकारात्मक रूप से लिया और एक प्रतिशत से अधिक की गिरावट आई और स्थानीय रुपये का शुरुआती लाभ चला गया।’’
डॉलर के मुकाबले रुपये में स्थिरता के पीछे भारतीय रिजर्व बैंक के रेपो दर स्थिर रखने के फैसले की अहम भूमिका रही। रेपो दर को लगातार छठी बार 6.5 प्रतिशत पर स्थिर रखा गया है।
रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने द्विमासिक मौद्रिक नीति की घोषणा करते हुए कहा कि मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) खाद्य मुद्रास्फीति पर नजर रखेगी।
इस बीच, छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 0.03 प्रतिशत चढ़कर 104.08 पर पहुंच गया।
अंतरराष्ट्रीय तेल मानक ब्रेंट क्रूड वायदा 0.16 प्रतिशत की तेजी के साथ 79.34 डॉलर प्रति बैरल के भाव पर था।
बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 723.57 अंक की बड़ी गिरावट के साथ 71,428.43 अंक पर बंद हुआ।
शेयर बाजार के आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशक (एफआईआई) पूंजी बाजार में शुद्ध बिकवाल रहे। उन्होंने बृहस्पतिवार को 4,933.78 करोड़ रुपये के शेयरों की बिक्री की।
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