Israel-Hamas War | Photo: X
तेल अवीव, 14 नवंबर : गाजा के अल-शिफा अस्पताल ने मंगलवार को कहा कि उसे अस्पताल परिसर के अंदर इजरायली बमबारी के बाद मारे गए लोगों के शवों को दफनाने के लिए मजबूर होना पड़ा. अस्पताल ने एक बयान में कहा, ''शव सड़ने की स्थिति में थे, इसलिए वे इसे नहीं रख सकते थे. इसी कारण सभी शवों को सामूहिक कब्र में दफना दिया गया था.''
अस्पताल के निदेशक ने कहा कि वे जो कब्रें खोद रहे थे वे छोटी थीं और उनमें सभी मृतकों को नहीं रखा जा सकता था. अस्पताल के अधिकारियों ने कहा कि उन्हें आपातकालीन मामलों में बिना एनेस्थीसिया और बिना बिजली के सर्जरी करनी पड़ी. यह भी पढ़ें : युद्ध के चलते जान-माल को ही नहीं पर्यावरण को भी होता है भयावह नुकसान, दशकों बना रहता है खतरा
इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ रेड क्रॉस के हस्तक्षेप के बाद इजरायल सेना कम संख्या में प्री-मैच्योर शिशुओं को अस्पताल से बाहर स्थानांतरित करने पर सहमत हो गई है. अस्पताल के अधिकारियों ने कहा कि वे सभी घायलों को अस्पताल से सुरक्षित बाहर निकालना चाहते हैं.
Israel-Hamas War | Photo: X
तेल अवीव, 14 नवंबर : गाजा के अल-शिफा अस्पताल ने मंगलवार को कहा कि उसे अस्पताल परिसर के अंदर इजरायली बमबारी के बाद मारे गए लोगों के शवों को दफनाने के लिए मजबूर होना पड़ा. अस्पताल ने एक बयान में कहा, ''शव सड़ने की स्थिति में थे, इसलिए वे इसे नहीं रख सकते थे. इसी कारण सभी शवों को सामूहिक कब्र में दफना दिया गया था.''
अस्पताल के निदेशक ने कहा कि वे जो कब्रें खोद रहे थे वे छोटी थीं और उनमें सभी मृतकों को नहीं रखा जा सकता था. अस्पताल के अधिकारियों ने कहा कि उन्हें आपातकालीन मामलों में बिना एनेस्थीसिया और बिना बिजली के सर्जरी करनी पड़ी. यह भी पढ़ें : युद्ध के चलते जान-माल को ही नहीं पर्यावरण को भी होता है भयावह नुकसान, दशकों बना रहता है खतरा
इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ रेड क्रॉस के हस्तक्षेप के बाद इजरायल सेना कम संख्या में प्री-मैच्योर शिशुओं को अस्पताल से बाहर स्थानांतरित करने पर सहमत हो गई है. अस्पताल के अधिकारियों ने कहा कि वे सभी घायलों को अस्पताल से सुरक्षित बाहर निकालना चाहते हैं.