इस वर्ष विजयादशमी अर्थात दशहरा 15 अक्टूबर को पड़ रहा है. चूंकि विजयादशमी के दिन राहु काल का दोष नहीं माना जाता है, इसलिए इस दिन हर तरह के शुभ कार्य किये जाते हैं.
सनातन धर्म में विजयादशमी का पर्व अच्छाई की बुराई पर जीत के प्रतीक के रूप में मनाई जाती है. क्योंकि मान्यता है कि इसी दिन माँ दुर्गा ने महिषासुर जो (देवताओं से स्वर्गलोक जीतकर अत्याचार का प्रतीक बन गया था) का संहार किया था और राक्षसराज लंका नरेश रावण का वध करने के लिए भगवान विष्णु ने श्रीराम के रूप में अवतार लिया था. शारदीय नवरात्रि के नौ दिनों तक भगवान राम के चरित्र को उजागर करने के लिए देश भर में रामलीला का आयोजन किया जाता है. दसवें दिन श्रीराम द्वारा लंकापति रावण और उसके भाई कुंभकर्ण एवं पुत्र मेघनाथ के पुतलों के दहन की परंपरा निभाई जाती है. रावण-दहन के माध्यम से लोगों को अच्छाई का बुराई पर विजय का संदेश दिया जाता है. हिन्दू पंचांग के अनुसार आश्विन मास की शुक्ल पक्ष की दशमी के दिन विजयदशमी का पर्व मनाया जाता है. इस दिन अधिकांश हिंदू घरों में विजय मुहूर्त काल में शस्त्रों (आयुधों) की पूजा भी की जाती है. इस वर्ष 15 अक्टूबर 2021 शुक्रवार के दिन विजयादशमी पड़ रहा है.
विजयादशमी के दिन जलेबी खाने की परंपरा
विजयादशमी के दिन रावण, कुंभकर्ण एवं मेघनाथ के पुतलों का दहन करने के पश्चात जलेबी खाने की परंपरा निभाई जाती है. यह प्रथा पौराणिक कथाओं के आधार पर सदियों से मनाई जा रही है. कहते हैं कि त्रेतायुग में प्रभु श्रीराम लंकाधिपति रावण, कुंभकर्ण एवं मेघनाथ का वध कर पृथ्वीवासियों को असुरों के अत्याचार से मुक्ति दिलाई थी. इस विजय दिवस पर श्रीराम ने अपनी प्रिय मिठाई शश्कुली खाने की इच्छा जाहिर की थी. कालांतर में शश्कुली का नाम बदलकर जलेबी हो गया. मान्यता है कि इसके बाद से ही हिंदू धर्म में अंतिम संस्कार करके लौटते समय मिठाई खाने की प्रथा निभाई जा रही है. यह भी पढ़ें : Shardiya Navratri 9th Day 2021: आज है माँ सिद्धिदात्री की पूजा! मान्यतानुसार शिवजी ने इन्हीं से हासिल की थी सिद्धियां! जानें इनकी पूजा-विधि, मंत्र-मुहूर्त एवं कथा!
पूजा एवं रावण दहन का शुभ मुहूर्त
इस साल यानि वर्ष 2021 को दशहरा 15 अक्टूबर को पड़ रहा है. दशमी की तिथि 14 अक्टूबर को शाम 6.52 आरंभ होगी, और अगले दिन शाम 6.02 तक रहेगी. हिंदू पंचांगों में दोपहर 2.02 से 2.48 बजे पूजन का शुभ समय निर्धारित हुआ है. दशहरे के दिन पूजन को लेकर देश के विभिन्न इलाकों और समुदायों में अलग-अलग तरह की परंपराएं है.
विजय दिवस का शुभ मुहूर्त
पूजा का मुहूर्तः 01.16 PM से 03.34 PM तक (15 अक्टूबर, शुक्रवार 2021)
विजय मुहूर्त: 02.02 PM से 02.48 PM तक (15 अक्टूबर, शुक्रवार 2021)
रावण-दहन का शुभ मुहूर्त
दशमी प्रारंभ: 06.52 PM (14 अक्टूबर, बृहस्पतिवार 2021) से
दशमी समाप्त: 06.02 PM (15 अक्टूबर, शुक्रवार 2021) तक